पटाखो पर पाबंदी, फिर भी व्यापारी कर रहे है पटाखों का भंडारण

सुप्रीम कोर्ट ने इस बार पूरे भारत में दीपावली और दशहरे पर चलने वाले पटाखों पर काफी सख्त रवैया अपनाया हुआ है। इसके बाद भी बड़े.बड़े व्यापारियों ने त्यौहारों से दो माह पहले ही पटाखों के बड़े बड़े आर्डर दे दिए हैंएकरोड़ों रुपए के पटाखे और अन्य सामान व्यापारियों के गोदामों में पहुंचना आरंभ हो गया है। व्यापारियों द्वारा पटाखों की बिक्री की तैयारी दो.तीन माह पहले ही शुरू कर दी जाती है।


जानकारी के मुताबिक बड़े व्यापारियों ने अपने पटाखों के स्टोर घनी आबादी वाले क्षेत्रों में बनाए हैंएजहां पर कोई भी अप्रिय घटना हो सकती है। फिरोजपुर के एक पटाखा व्यापारी ने बताया कि यह हमारा धंधा है और साल भर की रोटियां हम इसी धंधे से कमाते हैं। इस बात को लेकर जब जिले के अधिकारी से पूछा गया तो उन्होंने बताया कि पटाखों की सेल.परचेज को लेकर अभी तक सरकार से कोई गाईड लाईन प्राप्त नहीं हुईए लेकिन सरकार द्वारा जारी दिशा निर्देशों का सख्ती से पालन किया जाएगा। हिन्दू संगठनों से जब पटाखों पर पूर्ण पाबंदी को लेकर प्रश्न किया गया तो उन्होंने कहा कि हिन्दू त्यौहारों पर सुप्रीम कोर्ट का आदेश चिंताजनक है। सभी को खुशी मनाने की आजादी होनी चाहिएए बड़े पटाखों पर पाबंदी होनी चाहिएएअन्य पटाखों पर पाबंदी नही होनी चाहिए। फिरोजपुर में पटाखे अन्य राज्यों व जिलों से आते हैंएयहां पटाखे बनाने वाली कोई फैक्ट्री नहीं हैएपटाखा स्टोर करने वाले व्यापारी सरकार की गाईड लाईन का पालन नहीं करतेए न ही पटाखा स्टोर के धरातल कच्चे होते हैं और न ही आग बुझाने वाले यंत्र वहां पर लगे होते हैं। पटाखा स्टोर में बिजली का कनेक्शन नहीं होना चाहिए। ज्वलनशील पदार्थों को पटाखों के स्टोर से 100 मीटर की दूरी पर रखा जाना चाहिए।


क्या कहते हैं पुलिस अधिकारी

 जब इस मामले में पुलिस अधिकारियों से पूछा गया कि दीपावली आने से पहले पटाखा व्यापारियों ने करोड़ों रुपए का माल अपने स्टोरों में भर लिया है तो नाम न छापने की शर्त पर उन्होंने बताया कि हर पटाखा व्यापारी पर हमारी पैनी नजर है। कई पटाखा व्यापारियों ने खुली जगहों पर अपने गोदाम बनाए हैएलेकिन सख्ती से सरकार के आदेशों का पालन करवाएंगे।


हिन्दू संगठनों का कहना है कि पटाखों के बिना हिन्दू त्यौहार फीके पड़ जाएंगे। रौशनी का त्योहार दीपावली को छोटी मोटी पाबंदियों से दूर रखना चाहिए। विवाह शादियों में आतिशबाजी पर सुप्रीम कोर्ट की कोई पाबंदी नहीं हैए फुलझड़ीए आनारए राकेट व रौशनी वाले पटाखे पाबंदी से बाहर रखना चाहिए।


 पटाखों पर फूटा महंगाई का बम

इस बार दीवाली जेब पर भारी पडऩे वाली हैएपटाखे हो या पटाखों की गिफ्ट आईटम सभी के दामों में बेतहाशा वृद्धि हो चुकी है। पटाखों के दामों में 30 फीसद से अधिक बढौतरी हो चुकी है। अनार का डिब्बा जो पिछले साल 210 रुपए में मिलता था अब 270 रुपए का हो चुका है। कुछ दुकानदारों के पास पिछली दीवाली का सामान बचा हुआ है । फुलझड़ी का डिब्बा 170 रुपए का अब 200 रुपए में बेचा जा रहा है।


पटाखों के मुख्य व्यापारियों का कहना है कि पटाखों के निर्माण की मुख्य मंडी शिव कांशी हैएइस वर्ष बड़े व्यापारियों ने पटाखों की रेट सूची जारी की हैए उसमें पिछले साल की तुलना में 20 से 30 फीसद दरों की बढौ़तरी हुई है। दूसरी तरफ अस्थाई लाईसेंस लेकर पटाखों का कारोबार करने वाले व्यापारियों पर लाइसेंस के लिए फीस जमा करवाने वालों से लेकर किराया वसूलने एवं अस्थाई लाइसेंस लेने वालों पर भारी दबाव के कारण खर्च बहुत बढ़ गया है। इसका असर पटाखों के दामों पर  ही पड़ेगा।