मोदी का परिवार अभियान का शंखनाद, विपक्ष पर पड़ेगा भारी ?

लोकसभा चुनाव से ठीक पहले मोदी का परिवार अभियान चर्चा में आ गया है। इसी प्रकार 2019 में भी मैं भी चौकीदार हूं का नारा चर्चा में रहा और विपक्ष के लिए भारी भी पडा। क्या लोकसभा 2024 में मोदी का परिवार अभियान, मैं हूं चौकीदार की भांति विपक्ष को आईना दिखा पायेगा? इस बार यह अभियान चल पडा है। अब देखना यह है कि विपक्ष इसका क्या जबाब खोजता है। पटना में 3 मार्च को विपक्ष की रैली हुई जिसमें राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर व्यक्तिगत टिप्पणियां करते हुए कहा, नरेंद्र मोदी आजकल परिवारवाद पर हमला कर रहे हैं, ज्यादा संतान होने वाले लोगों को लेकर प्रधानमंत्री बोलते हैं कि परिवार के लिए लोग लड़ रहे हैं। लालू यादव ने प्रधानमंत्री को लेकर कहा कि आपके पास परिवार नहीं है। लालू यहीं नहीं रुके। उन्होंने आगे यह भी कहा कि आप हिन्दू भी नहीं हैं। जब आपकी माताजी का निधन हुआ तो अपने बाल-दाढ़ी नहीं बनवाई जबकि हर हिन्दू अपनी मां के शोक में केश-दाढ़ी बनवाता है।
दूसरे ही दिन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने तेलंगाना दौरे के दौरान लालू यादव को परोक्ष रूप से जवाब देते हुए कहा कि भ्रष्टाचार, परिवारवाद और तुष्टिकरण में आकंठ डूबे विपक्षी गठबंधन के नेता बौखलाते जा रहे हैं। अब इन्होंने 2024 के चुनाव का अपना असली घोषणा पत्र निकाला है। मैं इनके परिवारवाद पर सवाल उठाता हूं, तो इन लोगों ने अब बोलना शुरू कर दिया है कि मोदी का कोई परिवार नहीं है। मैं इनसे कहना चाहता हूं कि 140 करोड़ देशवासी मेरा परिवार हैं। जिनका कोई नहीं है, वो भी मोदी के हैं और मोदी उनका है। मेरा भारत ही मेरा परिवार है।


प्रधानमंत्री के जबाब के बाद लालू यादव के इस विवादित बयान पर पलटवार करते हुए भाजपा ने सोशल मीडिया पर एक नया अभियान मैं हूं मोदी का परिवार शुरू कर दिया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह, भाजपा अध्यक्ष जेपी नड्डा, उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ समेत कई वरिष्ठ नेताओं ने सोशल मीडिया पर मोदी का परिवार अभियान का आगाज कर दिया है। देश भर के भाजपा नेताओं व कार्यकताओं ने अपने नाम के आगे मोदी का परिवार लिखना शुरू कर इस अभियान को देश व्यापी बना दिया है। इस अभियान का उदेद्श्य पीएम मोदी के साथ एकजुटता दिखाने के लिए किया है। ऐसा ही 2019 लोकसभा चुनाव के दौरान भी देखा गया था तब भाजपा ने मैं भी चैकीदार नाम से अभियान चलाया था। परिणाम स्वरूप भाजपा 2014 के मुकाबले 2019 में और भी अधिक अंतर से जीती थी।  मैं हूं मोदी का परिवार से यह लगता है कि लोकसभा चुनाव में इसका व्यापक असर होगा? लेकिन मोदी का परिवार अभियान से लाखों लोग जुड लोग जुड रहे है। सही मायने में मोदी देश ही नहीं विश्व के लोकप्रिय नेता है ऐसे में उन पर यह व्यक्तिगत हमला से भाजपा के करोड़ो कार्यकर्ता इस अभियान में लगे है।


2019 लोकसभा चुनाव के दौरान कांग्रेस समेत तमाम विपक्षी दलों ने राफेल का मुद्दा बड़े जोर-शोर से उठाया था। दरअसल, साल 2016 में भारत ने 36 नए राफेल लड़ाकू जेट खरीदने के लिए फ्रांस के साथ सौदा किया गया था। 2017 में कांग्रेस ने राफेल लड़ाकू विमान सौदे में घोटाले का आरोप लगाया। बाद में यशवंत सिन्हा, अरुण शौरी, वकील प्रशांत भूषण और अन्य ने सौदे की जांच करने की मांग करते हुए सुप्रीम कोर्ट में याचिकाएं दायर कीं। 2019 में इन याचिकाओं पर कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया लेकिन राफेल लड़ाकू सौदे से संबंधित रक्षा मंत्रालय के कुछ आंतरिक दस्तावेज मीडिया में लीक हो गए। इसके बाद कांग्रेस के तत्कालीन अध्यक्ष राहुल गांधी ने नैतिक जीत का दावा किया और कहा था कि अदालत ने स्पष्ट कर दिया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चोरी की है। राहुल गांधी ने अमेठी में अपनी रैली के बाद मीडिया से कहा था, सुप्रीम कोर्ट ने स्पष्ट कर दिया है कि चौकीदारजी ने चोरी की है।


राहुल के साथ ही अन्य विपक्षी नेताओं ने भाजपा और नरेंद्र मोदी के खिलाफ यही बयानबाजी की। उधर भाजपा ने राफेल विवाद पर राहुल के खिलाफ दायर अवमानना याचिका दायर कर दी। पार्टी यहीं नहीं रुकी और उसने मैं भी चौकीदार का चुनावी नारा बना दिया। भाजपा के तमाम नेताओं ने सोशल मीडिया प्रोफाइल पर मैं भी चौकीदार जोड़ लिया। रैलियों में कार्यकर्ता इसी नारे वाली टी शर्ट और टोपी पहने दिखाए देते। इस तरह से 2019 लोकसभा चुनाव प्रचार में पार्टी इस नारे का बखूबी इस्तेमाल किया। बता दें कि नवंबर 2019 में सुप्रीम कोर्ट ने राफेल विमान सौदे से जुड़ी सभी याचिकाएं खारिज कर दी थीं। इसके साथ ही अदालत ने 36 राफेल लड़ाकू विमानों की खरीद में अनियमितता के आरोपों पर मोदी सरकार को क्लीन चिट भी दे दी थी।
23 मई 2019 को जब लोकसभा के नतीजे सामने आए तो भाजपा ने प्रचंड जीत दर्ज की। भाजपा ने 2019 में 543 सीटों में से 436 पर उम्मीदवार उतारे थे। बाकी सीटें पार्टी ने सहयोगी दलों को दी थीं। पार्टी को 2014 से भी ज्यादा 303 सीट पर जीत मिली। यह आंकड़ा लोकसभा में बहुमत के आंकड़े 272 से भी ज्यादा था। वहीं कांग्रेस महज 52 सीटों पर ही रह गई। इस तरह से चुनाव में भाजपा नीत राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) को 351 जबकि कांग्रेस नीत संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (यूपीए) को 90 सीटें मिलीं। नतीजों के बाद 30 मई 2019 को नरेंद्र मोदी ने लगातार दूसरी बार प्रधानमंत्री पद की शपथ ली।


लोकसभा चुनाव की तारीखों की घोषणा किसी भी समय हो सकती है। सभी राजनीतिक दलों ने  चुनावी अभियान का शंखनाद कर दिया है। राष्ट्रीय जनता दल (राजद) के अध्यक्ष लालू प्रसाद यादव की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को लेकर की गई ऐसी टिप्पणी की है जिससे विवाद खड़ा हो गया है। अब भारतीय जनता पार्टी ने इसे मुद्दा बनाते हुए सोशल मीडिया पर मोदी का परिवार नाम से अभियान शुरू कर दिया है। इसके अन्तर्गत सम्पूर्ण देश भर में  भाजपा के नेता और कार्यकर्ता अपनी प्रोफाइल के आगे मोदी का परिवार लिखकर लोगों को जोड़ रहे है।