नयी दिल्ली, कांग्रेस ने पर्यावरण से जुड़े मुद्दों पर नरेन्द्र मोदी सरकार की ‘विफलताओं’ को शनिवार को सूचीबद्ध किया और दावा किया कि इसकी ‘वैश्विक चर्चा स्थानीय स्तर पर उठाए जाने वाले कदमों से समर्थित नहीं है’। इसने कहा कि जब ‘इंडिया’ गठबंधन ‘‘जून में सत्ता संभालेगा’’ तो वर्तमान शासन के प्रतिगामी कदमों को वापस लिया जाएगा।
कांग्रेस महासचिव एवं पूर्व केंद्रीय पर्यावरण मंत्री जयराम रमेश ने आरोप लगाया कि मोदी सरकार के पिछले 10 साल न केवल भारत के लोगों और लोकतंत्र के लिए, बल्कि पर्यावरण और उस पर निर्भर रहने वालों के लिए विनाशकारी रहे हैं।
उन्होंने आरोप लगाया, “प्रधानमंत्री, जिन्होंने कहा था कि ‘जलवायु नहीं बदल रही है, हम बदल रहे हैं’ ने भारत में पर्यावरण के लिए संरक्षण को व्यवस्थित रूप से नष्ट कर दिया है।”
रमेश ने दावा किया कि मुख्य रूप से अपनाया जाने वाला तरीका स्थानीय समुदायों से जंगलों पर उनके किसी भी अधिकार को छीनना और वन भूमि को मोदी सरकार की “सांठगांठ वाले कॉर्पोरेट मित्रों” को सौंपने को आसान बनाना है। उन्होंने पर्यावरण संबंधी मुद्दों पर मोदी सरकार की 10 ‘‘विफलताओं’’ को सूचीबद्ध किया।