नयी दिल्ली, 12 जुलाई (भाषा) महारत्न कंपनी कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) ने शुक्रवार को कहा कि उसने ई-नीलामी के नियमों को आसान बनाने के उपाए किये हैं।
कंपनी ने बताया कि इसके तहत बयाना राशि को कम करना और पेशकश में कोयला की मात्रा बढ़ाने जैसे कदम शामिल हैं।
कोल इंडिया अपनी नीलामी और आवंटन पद्धति में भी बदलाव करने की योजना बना रही है, जिसका मकसद भागीदारी को बढ़ावा देना है।
कंपनी ने एक बयान में कहा, ”कोल इंडिया ने ई-नीलामी के नियमों को आसान बनाने के लिए बयाना राशि जमा (ईएमडी) को कम करने और नीलामी के तहत पेश की जाने वाली मात्रा को बढ़ाने जैसे कदम उठाए हैं।”
कोल इंडिया ने नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड को छोड़कर अपनी सभी इकाइयों से चालू वित्त वर्ष की दूसरी और तीसरी तिमाही के लिए ई-नीलामी के तहत पेशकश की मात्रा को अपने संबंधित कुल उत्पादन के मुकाबले 40 प्रतिशत तक बढ़ाने को कहा है।
इस समय कोल इंडिया केवल एकल खिड़की व्यवस्था ‘एग्नॉस्टिक’ ई-नीलामी योजना संचालित करती है, जहां उपभोक्ता कोयले के परिवहन का अपना पसंदीदा तरीका चुन सकते हैं।
बयान में कहा गया, ”कंपनी अपनी इलेक्ट्रॉनिक विंडो के तहत नीलामी और आवंटन पद्धति में सुधार की भी योजना बना रही है।”
नयी दिल्ली, 12 जुलाई (भाषा) महारत्न कंपनी कोल इंडिया लिमिटेड (सीआईएल) ने शुक्रवार को कहा कि उसने ई-नीलामी के नियमों को आसान बनाने के उपाए किये हैं।
कंपनी ने बताया कि इसके तहत बयाना राशि को कम करना और पेशकश में कोयला की मात्रा बढ़ाने जैसे कदम शामिल हैं।
कोल इंडिया अपनी नीलामी और आवंटन पद्धति में भी बदलाव करने की योजना बना रही है, जिसका मकसद भागीदारी को बढ़ावा देना है।
कंपनी ने एक बयान में कहा, ”कोल इंडिया ने ई-नीलामी के नियमों को आसान बनाने के लिए बयाना राशि जमा (ईएमडी) को कम करने और नीलामी के तहत पेश की जाने वाली मात्रा को बढ़ाने जैसे कदम उठाए हैं।”
कोल इंडिया ने नॉर्दर्न कोलफील्ड्स लिमिटेड को छोड़कर अपनी सभी इकाइयों से चालू वित्त वर्ष की दूसरी और तीसरी तिमाही के लिए ई-नीलामी के तहत पेशकश की मात्रा को अपने संबंधित कुल उत्पादन के मुकाबले 40 प्रतिशत तक बढ़ाने को कहा है।
इस समय कोल इंडिया केवल एकल खिड़की व्यवस्था ‘एग्नॉस्टिक’ ई-नीलामी योजना संचालित करती है, जहां उपभोक्ता कोयले के परिवहन का अपना पसंदीदा तरीका चुन सकते हैं।
बयान में कहा गया, ”कंपनी अपनी इलेक्ट्रॉनिक विंडो के तहत नीलामी और आवंटन पद्धति में सुधार की भी योजना बना रही है।”