तिरुवनंतपुरम, 12 जुलाई (भाषा) केरल के मुख्यमंत्री पिनराई विजयन ने शुक्रवार को कहा कि विझिंजम बंदरगाह पर पहले मालवाहक जहाज का आगमन सिर्फ एक परीक्षण था। उन्होंने कहा कि इस जहाज के यहां पहुंचने के साथ ही इस अंतरराष्ट्रीय बंदरगाह का संचालन शुरू हो गया।
मुख्यमंत्री ने यहां बंदरगाह पर आयोजित एक समारोह में 300 मीटर लंबे चीनी जहाज ‘सैन फर्नांडो’ का औपचारिक रूप से स्वागत किया।
इस अवसर पर केंद्रीय बंदरगाह, जहाजरानी एवं जलमार्ग मंत्री सर्बानंद सोनोवाल, केरल विधानसभा अध्यक्ष एएन शमसीर, राज्य सरकार के कई मंत्री, संयुक्त लोकतांत्रिक मोर्चा (यूडीएफ) विधायक एम विन्सेंट और स्पेशल इकोनॉमिक जोन लिमिटेड (एपीएसईजेड) के प्रबंध निदेशक करण अडाणी भी मौजूद थे।
मालवाहक जहाज बृहस्पतिवार को बंदरगाह पर पहुंचा था। भारत के इस सबसे बड़े बंदरगाह को 8,867 करोड़ रुपये की लागत से अडाणी पोर्ट्स और एपीएसईजेड द्वारा बनाया जा रहा है।
विजयन ने एक सभा को संबोधित करते हुए कहा कि विझिंजम इंटरनेशनल सीपोर्ट लिमिटेड (वीआईएसएल) निर्धारित समय से 17 साल पहले यानी 2028 तक पूर्ण रूप से बन कर तैयार हो जाएगा।
बंदरगाह पर 300 मीटर लंबे मालवाहक जहाज को देखने के लिए बड़ी संख्या में लोग पहुंचे थे।
उन्होंने कहा कि शुरुआत में कल्पना की गई थी कि 2045 तक बंदरगाह के दूसरे, तीसरे और चौथे चरण पूरे हो जाएंगे और यह पूरी तरह सुसज्जित बंदरगाह बन जाएगा।
उन्होंने हालांकि कहा कि 10 हजार करोड़ रुपये के निवेश से यह बंदरगाह 2028 तक पूर्ण रूप से विकसित हो जाएगा।
निवेश के लिए जल्द ही एक समझौते पर हस्ताक्षर किए जाएंगे।
आधुनिक उपकरणों व उन्नत तकनीक और आईटी प्रणालियों से लैस विझिंजम बंदरगाह भारत का पहला अर्ध-स्वचालित बंदरगाह बन जाएगा।
इस बंदरगाह के सितंबर या अक्टूबर 2024 में पूरी तरह से चालू होने की उम्मीद है।
यह बंदरगाह 2019 में शुरू होना था लेकिन परियोजना के लिए भूमि अधिग्रहण, विभिन्न प्राकृतिक आपदाओं और कोविड-19 वैश्विक महामारी के कारण संचालन शुरू होने में देरी हुई।