5-10 साल में आमदनी बढ़कर 2.5 लाख करोड़ रुपये होने की उम्मीद: जेप्टो सीईओ

नयी दिल्ली, छह जुलाई (भाषा) त्वरित सेवाएं देने वाली यूनिकॉर्ट जेप्टो के सह-संस्थापक और मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) आदित पालीचा ने शनिवार को कहा कि कंपनी अगर कारोबार को अच्छी तरह से चलाए तो उसकी आमदनी पांच से 10 साल में कई गुना बढ़कर 2.5 लाख करोड़ रुपये हो सकती है।

जेआईआईएफ के सातवें स्थापना दिवस समारोह पर पालीचा ने कहा कि किराना और घरेलू आवश्यक सामान में सभी श्रेणियां आ जाती हैं, जो भारत में अग्रणी ई-कॉमर्स मंच फ्लिपकार्ट और अमेजन पर बेची जाती हैं।

उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2022-23 में भारत में किराना और आवश्यक घरेलू वस्तुओं का बाजार लगभग 650 अरब डॉलर का था और यह नौ प्रतिशत सीएजीआर (चक्रवृद्धि वार्षिक वृद्धि दर) से बढ़ रहा है। इसके वित्त वर्ष 2028-29 तक लगभग 850 अरब डॉलर तक पहुंचने की उम्मीद है।

पालीचा ने कहा, “यदि हम इसे अच्छी तरह क्रियान्वित करते हैं, तो हम इस कारोबार को आज के 10,000 करोड़ रुपये से अगले 10 वर्षों या अगले पांच वर्षों में संभावित रूप से 2.5 लाख करोड़ रुपये के कारोबार तक ले जा सकते हैं।”

उन्होंने कहा, “आपकी किराना दुकान, अमेजन और फ्लिपकार्ट द्वारा दी जाने वाली अन्य सभी श्रेणियों से बड़ी है। अगर आप इलेक्ट्रॉनिक्स, परिधान, फर्नीचर को देखें, तो आप सब कुछ मिला दें, और इसे दोगुना कर दें, फिर भी यह किराना और आवश्यक घरेलू वस्तुओं से बड़ी नहीं है।”

कंपनी का राजस्व वित्त वर्ष 2022-23 में लगभग 2,000 करोड़ रुपये से पांच गुना बढ़कर बीते वित्त वर्ष (2023-24) में 10,000 करोड़ रुपये से अधिक हो गया है।

जेप्टो ने पिछले महीने 66.5 करोड़ डॉलर जुटाए, जिससे कंपनी का मूल्यांकन 3.6 अरब डॉलर हो गया। यह एक साल पहले की तुलना में लगभग तिगुना है। कंपनी जल्द ही सूचीबद्ध होने की तैयारी कर रही है।

तीन साल पुराने इस स्टार्टअप ने नए निवेशकों से 66.5 करोड़ डॉलर (लगभग 5,550 करोड़ रुपये) जुटाए हैं।

पालीचा ने कहा कि कंपनी के लिए सबसे बड़ी चुनौती सही दृष्टिकोण वाले लोगों को नियुक्त करना है।

स्टार्टअप की योजना मार्च, 2025 तक दो किलोमीटर के दायरे में 10 मिनट के भीतर किराने का सामान पहुंचाने के लिए उपयोग किए जाने वाले गोदामों की संख्या को दोगुना करके 700 से अधिक करने की है।

त्वरित (10 मिनट में) किराना आपूर्ति सेवा (त्वरित ई-कॉमर्स) बाजार में जेप्टो की हिस्सेदारी लगभग 29 प्रतिशत है, जो मार्च, 2022 में 15 प्रतिशत थी। ब्लिंकिट लगभग 40 प्रतिशत के साथ बाजार में अग्रणी है।