नयी दिल्ली, 24 जून (भाषा) वाणिज्य मंत्रालय की जांच इकाई डीजीटीआर ने घरेलू कंपनियों को संरक्षण देने के लिए चीन और वियतनाम से आयातित वेल्डेड स्टेनलेस स्टील पाइप एवं ट्यूब पर लगाए सब्सिडी-रोधी शुल्क को जारी रखने की सिफारिश की है।
व्यापार उपचार महानिदेशालय (डीजीटीआर) ने एक अधिसूचना में कहा है कि दोनों देशों से इन वस्तुओं के आयात पर लगे मौजूदा जवाबी शुल्क के खत्म होने की स्थिति में घरेलू उद्योग को नुकसान होने की आशंका है।
महानिदेशालय ने कहा, ‘‘प्राधिकरण इस नतीजे पर पहुंचा है कि इन वस्तुओं पर लगाए गए शुल्क को और आगे बढ़ाने की जरूरत है। ऐसे में प्राधिकरण विचाराधीन उत्पादों के आयात पर लगे जवाबी शुल्क को आगे बढ़ाने की सिफारिश करता है।’’
डीजीटीआर ने उत्पाद पर 29.88 प्रतिशत तक सब्सिडी-रोधी शुल्क लगाने की सिफारिश की है। इस शुल्क को लगाने के बारे में अंतिम निर्णय वित्त मंत्रालय को करना है।
डीजीटीआर ने अपनी जांच में यह निष्कर्ष निकाला है कि सब्सिडी-रोधी शुल्क हटाए जाने की स्थिति में घरेलू उद्योग को वित्तीय नुकसान हो सकता है। राजस्व विभाग ने इन देशों के खिलाफ सितंबर, 2019 में यह शुल्क लगाया था।
महानिदेशालय के मुताबिक, चीन के उत्पादकों के पास वेल्डेड स्टेनलेस स्टील पाइप एवं ट्यूब निर्माण की अतिरिक्त क्षमता है और वहां पर इसकी मांग में गिरावट आई है। ऐसी स्थिति में अगर शुल्क हटाया जाता है तो चीनी उत्पादकों की अतिरिक्त क्षमता का उपयोग भारत को इन उत्पादों के निर्यात के लिए किया जा सकता है।
घरेलू कंपनियों ने पहले लगाए गए सब्सिडी-रोधी शुल्कों की समीक्षा शुरू करने और चीन एवं वियतनाम से वेल्डेड स्टेनलेस स्टील ट्यूब एवं पाइप के आयात के खिलाफ शुल्क जारी रखने की मांग के लिए जुलाई, 2023 में आवेदन किया था।
सब्सिडी वाले निर्यात से आयातक देश में उस उत्पाद की कीमत प्रभावित होती है, जिससे विनिर्माताओं के मार्जिन एवं लाभ पर असर पड़ता है। वैश्विक व्यापार मानदंडों के तहत, कोई देश अपने घरेलू उद्योग को समान अवसर मुहैया कराने के लिए ऐसे आयात पर जवाबी शुल्क लगा सकता है।