दिल्ली-एनसीआर के विद्यालयों को बम से उड़ाने की धमकी के बाद अफरा-तफरी का माहौल

नयी दिल्ली,  दिल्ली-राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र (एनसीआर) में कम से कम 100 विद्यालयों को बम से उड़ाने की ईमेल के जरिए धमकी मिलने के बाद बुधवार को अफरा-तफरी का माहौल उत्पन्न हो गया।

इस बारे में सूचना मिलने के बाद अभिभावक अपने बच्चों को लेने के लिए स्कूल पहुंचे, बच्चे कक्षाओं से बाहर निकल आए, कई छात्र रोने लगे, दमकल विभाग के वाहनों के सायरन की आवाज सुनायी दे रही थी जबकि विद्यालयों में स्वान दस्ते भी लगाये गए। विद्यालय परिसरों में बम होने का ईमेल मिलने के बाद विद्यालयों के बाहर कुछ ऐसा ही नजारा देखने के मिला।

अभिभावक को अपने बच्चों को स्कूल छोड़े अभी लगभग एक घंटा ही हुआ था कि उन्हें स्कूल प्रशासन से संदेश मिला, जिसमें बताया गया कि उन्हें एक ई-मेल मिला है जिसमें छात्रों की सुरक्षा को लेकर धमकी दी गई है।

नोएडा निवासी मोनिका अरोड़ा का बेटा डीपीएस नोएडा में 12वीं कक्षा में पढ़ता है। अरोड़ा ने कहा, ‘‘मेरा बेटा अतिरिक्त कक्षा के लिए सुबह 6:30 बजे घर से निकला था, करीब आठ बजे हमें धमकी भरा ईमेल मिलने के बारे में सूचना मिली। स्कूल प्राधिकारियों ने अभिभावकों से कहा कि जिनके बच्चे निजी वाहनों से आए हैं वे उन्हें स्कूल से ले जाएं, जबकि जो स्कूल बस से आए हैं उन्हें वापस भेज दिया गया है।’’

शुरुआत में छात्र यह जानकार प्रसन्न हुए कि उन्हें आधे दिन की छुट्टी मिल गई है लेकिन बाद में उनमें से छोटे बच्चों ने रोना शुरू कर दिया।

अरोड़ा ने ‘पीटीआई-भाषा’ को बताया, ‘‘स्कूल के व्हाट्सऐप ग्रुप में शामिल अभिभावक में घबराहट जैसी स्थिति उत्पन्न हो गई और वे कई तरह के सवाल करने लगे। शिक्षकों ने उन्हें बताया का बम निरोधक दस्ता पहुंच चुका है और मौके पर स्वान दस्ता भी मौजूद है। मेरे बेटे ने बताया कि बड़ी कक्षाओं के छात्रों ने बताया कि यह एक झूठी धमकी भरा ईमेल हो सकता है। छोटे बच्चों ने रोना शुरू कर दिया।’’

रूकेश कुमार की बेटियां पूर्वी दिल्ली के दो अलग-अलग स्कूलों में पढ़ती हैं। कुमार ने बताया कि छात्रों को शिक्षकों ने स्कूल से बाहर निकाला। कुमार ने कहा, ‘‘ कुछ छात्र यह कहते हुए पेड़ों पर चढ़ गए कि अगर धमाका होगा तो वे बच जाएंगे। वहीं कुछ सुरक्षित जगहों पर खुद को छिपाने की कोशिश की।’’

मयूर विहार के मदर्स मैरी स्कूल के बाहर के सामने आये वीडियो में चिंतित अभिभावक बच्चों को ले जाने के लिए बाहर खड़े दिखे। विद्यालय प्रशासन की ओर से माइक से घोषणा की गई।

विजय कुमार ने बताया, ‘‘मैंने 10-15 मिनट पहले अपने बच्चे को स्कूल छोड़ा था। इसके बाद मुझे विद्यालय से फोन करके कहा गया कि कुछ आपातकालीन स्थिति की वजह से अपने बच्चे को वापस ले जाएं।’’

चाणक्यपुरी के संस्कृति स्कूल के बाहर भी ऐसा ही नजारा देखने को मिला।

स्कूल के बाहर दमकल की गाड़ियां, एंबुलेंस और पुलिस की गाड़ियां देखी गईं। विद्यालय के अंदर बम का पता लगाने वाला दल और बम निरोधक दस्ता तलाशी ले रहा था।

कीर्ति ने अपने बेटे को द्वारका के बीजीएस इंटरनेशनल स्कूल में छोड़ा था और वे उसका भीतर जाने का इंतजार कर रही थीं तभी उन्होंने लड़के को स्कूल स्टाफ के साथ वापस आते देखा। उन्होंने कहा, ‘‘मैं स्कूल के बाहर प्रतीक्षा कर रही थी, तभी मैंने देखा कि मेरा बेटा सभी स्कूल कर्मियों के साथ वापस आ रहा है। मैं बहुत चिंतित थी। तभी जब कुछ लोग चिल्लाये कि स्कूल में बम है, मैंने अपने बेटे से स्कूटर पर बैठने के लिए कहा।’’

कई विद्यालयों ने अभिभावकों को फोन करके कहा कि वे अपने बच्चों को तुरंत वापस घर ले जाएं।