मुंबई, केंद्रीय गृह एवं सहकारिता मंत्री अमित शाह ने बुधवार को कहा कि उनकी सरकार ने मुद्रास्फीति को पांच प्रतिशत से नीचे रखा हुआ है जबकि कांग्रेस की अगुवाई वाली पिछली सरकार के समय यह दहाई अंक में पहुंच गई थी।
शाह ने यहां ‘इंडिया ग्लोबल फोरम’ के वार्षिक निवेश शिखर सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि 2014 से पहले भारतीय अर्थव्यवस्था की हालत नाजुक थी, मुद्रास्फीति ऊंचे स्तर पर थी और राजकोषीय घाटा भी नियंत्रण से बाहर था।
उन्होंने कहा, “कांग्रेस की अगुवाई वाली संप्रग सरकार के समय मुद्रास्फीति दहाई अंक में पहुंच गई थी लेकिन हमारी सरकार ने इसे पांच प्रतिशत से नीचे रोक दिया है। संप्रग सरकार के समय 12 लाख करोड़ रुपये के विभिन्न घोटालों से देश का विश्वास हिल गया था और साठगांठ वाला (क्रॉनी) पूंजीवाद अपने चरम पर था।”
उन्होंने कहा कि पिछले 10 वर्षों में हुई प्रगति की तुलना पिछली संयुक्त प्रगतिशील गठबंधन (संप्रग) सरकार के शासनकाल से की जानी चाहिए। उन्होंने कहा, “जब तक आप यह नहीं जानते कि गड्ढा कितना गहरा है, आप प्रगति को नहीं समझ सकते हैं।”
शाह ने कहा, “भारत एक आत्मविश्वासी और आत्मनिर्भर देश है, जिसने खुद को निष्क्रिय सरकार से गतिशील सरकार में, प्रतिगामी से प्रगतिशील विकास में और नाजुक अर्थव्यवस्था से शीर्ष अर्थव्यवस्था में बदल दिया है।”
इसके साथ ही उन्होंने कहा कि आज भारत एक नीति-संचालित राज्य के रूप में उभरा है।
उन्होंने आगामी लोकसभा चुनाव के संदर्भ में कहा, “हम अपनी सरकार के पिछले 10 वर्षों के प्रदर्शन और अगले 25 वर्षों के रोडमैप के साथ चुनाव में उतर रहे हैं।”
उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को ‘दूरदर्शी प्रधानमंत्री’ बताते हुए कहा कि वर्ष 2047 में आजादी के सौ साल पूरा होने तक भारत पूरी तरह से विकसित, आत्मनिर्भर और दुनिया की शीर्ष तीन अर्थव्यवस्थाओं में से एक होगा।