नयी दिल्ली, देश का उपभोग बढ़ने के साथ अगले दशक में भारत का खुदरा क्षेत्र 9-10 प्रतिशत की दर से बढ़कर 2,000 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा।
बोस्टन कंसल्टिंग ग्रुप (बीसीजी) और भारतीय खुदरा संघ (आरएआई) की एक रिपोर्ट में यह अनुमान जताया गया है।
रिपोर्ट के मुताबिक, संगठित खुदरा विक्रेताओं को अपना बेहतर प्रदर्शन आगे भी बनाए रखना होगा।यह क्षेत्र वृद्धि की गति और आकार को प्रभावित करने वाले महत्वपूर्ण बदलावों से गुजर रहा है।
इसमें कहा गया कि आय वृद्धि स्थिर रहने के बीच उपभोक्ता व्यक्तिगत आय को लेकर आशावादी हैं। उपभोक्ता तेजी से नए अनुभवों पर खर्च करना चाहते हैं या नए उपायों से अधिक बचत करना चाहते हैं।
बीसीजी के प्रबंध निदेशक और वरिष्ठ भागीदार अभीक सिंघी ने कहा, ‘‘अगले दशक में भारतीय खुदरा क्षेत्र का आकार दोगुना होकर 2,000 अरब डॉलर तक पहुंच जाएगा। विभिन्न श्रेणियों और प्रारूपों में ऐसे विक्रेता सफल होंगे, जिनकी नकदी स्थिति अच्छी होगी।’’
रिपोर्ट में कहा गया है कि अगले दशक में भारत में खुदरा बिक्री 9-10 प्रतिशत की दर से बढ़कर 2,000 अरब डॉलर तक पहुंच सकती है।
संगठित खुदरा क्षेत्र ने प्रत्येक श्रेणी में अच्छी वृद्धि दर्ज की है। हालांकि 2023 में कुछ मंदी देखी गई।
आरएआई के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) कुमार राजगोपालन ने कहा कि व्यक्तिगत ग्राहक अनुभवों पर ध्यान केंद्रित करके और दक्षता के लिए एआई का लाभ उठाकर भारत में खुदरा उद्योग तेजी से वृद्धि दर्ज कर सकता है।