मुंबई, दो दिसंबर (भाषा) वाइस एडमिरल के. स्वामीनाथन ने मंगलवार को कहा कि ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के दौरान भारतीय नौसेना के आक्रामक कार्रवाई के रुख के कारण पाकिस्तान संघर्ष विराम का अनुरोध करने पर मजबूर हुआ।
भारत ने इस वर्ष मई में पहलगाम आतंकी हमले के बाद ‘ऑपरेशन सिंदूर’ नाम से सैन्य कार्रवाई शुरू की थी। आतंकी हमले में 26 लोग मारे गए थे।
नौसेना दिवस से पहले मीडिया को संबोधित करते हुए वाइस एडमिरल स्वामीनाथन ने कहा कि ऑपरेशन सिंदूर के दौरान बहुत ही कम समय में 30 से अधिक जहाजों और पनडुब्बियों को अभूतपूर्व तरीके से तैनात किया गया।
नौसेना की पश्चिमी कमान के प्रमुख ने कहा, ‘‘हमारे अग्रिम पंक्ति के जहाज, विमानवाहक पोत विक्रांत के ‘कैरियर बैटल ग्रुप’ के साथ में मकरान तट पर युद्ध के लिए तैयार थे।’’
कैरियर बैटल ग्रुप एक नौसैनिक समूह है जिसमें एक या अधिक विमान वाहक के साथ-साथ अन्य युद्धपोत जैसे विध्वंसक, फ्रिगेट और पनडुब्बियां शामिल होती हैं।
उन्होंने कहा कि भारतीय नौसेना की आक्रामक तैनाती और रुख के कारण पाकिस्तानी नौसेना को अपने तट के करीब रहने के लिए मजबूर होना पड़ा।
वाइस एडमिरल स्वामीनाथन ने कहा, ‘‘ वास्तव में, भारतीय नौसेना द्वारा आक्रामक कार्रवाई करने के रुख को पाकिस्तान द्वारा युद्ध विराम का अनुरोध करने के महत्वपूर्ण कारकों में से एक माना जा सकता है। ’’