नयी दिल्ली, रिलायंस इंडस्ट्रीज लिमिटेड 2018 से 2023 तक पांच साल के दौरान संपत्ति निर्माण के लिहाज से अव्वल रही है। मोतीलाल ओसवाल फाइनेंशियल सर्विसेज के एक अध्ययन के अनुसार अडाणी एंटरप्राइजेज ने भी निवेशकों को तगड़ा मुनाफा दिया।
कंपनियों के शेयर बाजार में प्रदर्शन पर आधारित इस अध्ययन में कहा गया कि रिलायंस लगातार पांचवीं बार संपत्ति निर्माण में अव्वल रही। कंपनी ने 2018-23 के बीच 9,63,800 करोड़ रुपये की संपत्ति जोड़ी।
इसके बाद टाटा कंसल्टेंसी सर्विसेज (6,77,400 करोड़ रुपये), आईसीआईसीआई बैंक (4,15,500 करोड़ रुपये), इन्फोसिस (3,61,800 करोड़ रुपये) और भारती एयरटेल (2,80,800 करोड़ रुपये) का स्थान रहा।
मोतीलाल ओसवाल ने अपने अध्ययन में कहा कि एक कम चर्चित कंपनी लॉयड्स मेटल्स ने 2018-23 के दौरान 79 प्रतिशत सालाना वृद्धि दर (सीएजीआर) के साथ सबसे तेजी से संपत्ति निर्माण किया।
अडाणी समूह की प्रमुख फर्म अडाणी एंटरप्राइजेज लिमिटेड 78 प्रतिशत सीएजीआर के साथ दूसरे स्थान पर रही।
अध्ययन में कहा गया है कि शीर्ष 10 सबसे तेज संपत्ति निर्माण करने वाली कंपनियों में यदि 2018 में 10 लाख रुपये का निवेश किया जाता, तो यह राशि 2023 में बढ़कर एक करोड़ रुपये होती। यह 59 प्रतिशत का सीएजीआर प्रतिफल है।
शेयर बाजार में सबसे तेज, सबसे बड़े और लगातार बेहतर प्रदर्शन को दर्शाने वाली श्रेणी ‘ऑल-राउंड वेल्थ क्रिएटर्स’ में अडाणी एंटरप्राइजेज शीर्ष पर रही। फर्म कुल संपत्ति निर्माण के लिहाज से 9वें स्थान पर, सबसे तेज संपत्ति निर्माण के लिहाज से दूसरे स्थान पर और लगातार बेहतर प्रदर्शन करने के लिहाज से पांचवे स्थान पर है।
इस श्रेणी में इसके बाद वरुण बेवरेजेज, अडाणी पावर, ट्यूब इन्वेस्टमेंट्स और आईसीआईसीआई बैंक का स्थान है। इस सूची में रिलायंस 10वें नंबर पर है।