इमोशनल केरेक्‍टर के लिए कमाल के एक्‍टर हैं विक्रांत मैसी

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03 अप्रेल, 1987 को महाराष्‍ट्र के नागभीड़ में पैदा हुए, भारतीय फिल्‍म और टेलीविजन एक्‍टर विक्रांत मैसी अपनी एक्टिंग से हर बार फैंस को चौंकाते रहे हैं।

मुंबई के आरडी नेशनल कॉलेज से अपनी शिक्षा पूरी करने के बाद विक्रांत मैसी ने टेलीविजन शो ‘धूम मचाओ धूम’ (2007) से अभिनय की शुरुआत की और उसके बाद ‘धरम वीर’ (2007), ‘बालिका वधू’ (2009-2010), ‘बाबा ऐसो वर ढूंढो’ (2010-2011), और ‘कुबूल है’ (2013), के साथ खुद को, छोटे पर्दे पर स्थापित कर लिया।

विक्रांत मैसी ने ‘लुटेरा’ (2013) के साथ फिल्मों में कदम रखा। उसके बाद ‘दिल धड़कने दो’ (2015) और ‘हाफ गर्लफ्रेंड’ (2017) ‘ए डेथ इन द गुंज’ (2017) जैसी फिल्‍मों में वो नजर आए। ‘ए डेथ इन द गुंज’ (2017) के लिए विक्रांत को बेस्‍ट एक्‍टर केटेगरी के लिए फिल्मफेयर नॉमिनेशन और बेस्‍ट एक्‍टर क्रिटिक्स अवॉर्ड मिला।

‘ए डेथ इन द गुंज’ (2017) के साथ विक्रांत मैसी के करियर में एक महत्वपूर्ण मोड़ आया, जिसकी वजह से उन्‍हें ‘छपाक’ (2020), ‘डॉली किट्टी और वो चमकते सितारे’ (2020), ‘हसीन दिलरुबा’ (2021), ‘रामप्रसाद की तेहरवी’ (2021) और ‘लव हॉस्टल’ (2022) जैसी फिल्‍मों के साथ वेब शो, मिर्ज़ापुर (2018), ब्रोकन बट ब्यूटीफुल (2018-2019) और ‘क्रिमिनल जस्टिस’ (2019) में काम करने का अवसर मिला। इनमें निभाये गये  किरदारों के लिए विक्रांत को खूब  प्रशंसा मिली।