सरकार ने गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य 150 रुपये बढ़कर 2,275 रुपये प्रति क्विंटल किया

नयी दिल्ली, सरकार ने बुधवार को विपणन सत्र 2024-25 के लिए गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य (एमएसपी) 150 रुपये बढ़ाकर 2,275 रुपये प्रति क्विंटल करने की घोषणा की। प्रमुख गेहूं उत्पादक राज्यों में विधानसभा चुनाव से पहले सरकार ने यह कदम उठाया है।

साल 2014 में सत्ता में आने के बाद प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की अगुवाई वाली सरकार द्वारा एमएसपी में की गई यह सबसे बड़ी वृद्धि है।

प्रधानमंत्री मोदी की अध्यक्षता में आर्थिक मामलों की मंत्रिमंडलीय समिति (सीसीईए) की बैठक में गेहूं का एमएसपी बढ़ाने का फैसला किया गया।

विपणन सत्र 2023-24 (अप्रैल-मार्च) के लिए गेहूं का न्यूनतम समर्थन मूल्य 2,125 रुपये प्रति क्विंटल है।

सूचना एवं प्रसारण मंत्री अनुराग ठाकुर ने सीसीईए की बैठक के बाद संवाददाताओं से कहा कि मंत्रिमंडल ने 2024-25 सत्र के लिए रबी की सभी फसलों का एमएसपी बढ़ाने की मंजूरी दे दी है।

उन्होंने कहा, ‘‘कृषि लागत एवं मूल्य आयोग (सीएसीपी) की सिफारिश के आधार पर हमने छह रबी फसलों के एमएसपी में वृद्धि की है। गेहूं का एमएसपी 150 रुपये प्रति क्विंटल बढ़ाया गया है।”

केंद्रीय मंत्री ने कहा, “गेहूं का समर्थन मूल्य 2024-25 विपणन सत्र के लिए 2,275 रुपये प्रति क्विंटल कर दिया गया है, जो 2023-24 में 2,125 रुपये प्रति क्विंटल था।”

गेहूं रबी (सर्दियों) की मुख्य फसल है, जिसकी बुवाई अक्टूबर में शुरू होती है, जबकि कटाई अप्रैल में होती है।

एमएसपी किसानों के हितों की रक्षा के लिए सुनिश्चित की गई न्यूनतम दर है, जिससे नीचे सरकारी खरीद एजेंसियों द्वारा अनाज नहीं खरीदा जाता है।