नयी दिल्ली, दिल्ली में अगले साल होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले आम आदमी पार्टी (आप) को बड़ा झटका देते हुए वरिष्ठ नेता एवं राष्ट्रीय राजधानी के परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत ने रविवार को पार्टी का साथ छोड़ दिया।
‘आप’ के प्रमुख नेता रहे गहलोत ने अपने त्यागपत्र में हाल में हुए विवादों और अधूरे वादों का हवाला दिया।
मुख्यमंत्री आतिशी को लिखे पत्र में नजफगढ़ से विधायक गहलोत ने तत्काल प्रभाव से मंत्रिपरिषद से अपना इस्तीफा दे दिया।
‘आप’ संयोजक अरविंद केजरीवाल को अलग से लिखे एक पत्र में गहलोत ने पार्टी की प्राथमिक सदस्यता से भी अपना इस्तीफा दे दिया। उन्होंने पत्र को सोशल मीडिया मंच ‘एक्स’ पर भी साझा किया।
गहलोत ने केजरीवाल के पूर्व आवास का संदर्भ देते हुए दावा किया कि पार्टी को ‘‘शीशमहल’’ जैसे ‘‘शर्मनाक’’ विवादों का सामना करना पड़ रहा है।
उन्होंने आरोप लगाया कि लोगों के अधिकारों के लिए लड़ने के बजाय, ‘आप’ अपने खुद के एजेंडे के लिए लड़ने में व्यस्त है, जिससे दिल्ली वालों को बुनियादी सेवाओं की आपूर्ति रुक गई है।
गहलोत द्वारा उठाए गए मुद्दों और इस घटनाक्रम पर ‘आप’ की ओर से फिलहाल कोई प्रतिक्रिया नहीं मिल पाई है।