प्रधानमंत्री मोदी ने पुलिस के लिए ‘एक राष्ट्र, एक वर्दी’ का विचार रखा

PM addressing the Chintan Shivir of Home Ministers of States, through video conferencing, in New Delhi on October 28, 2022.
सूरजकुंड (हरियाणा), प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शुक्रवार को पुलिस के लिए ‘‘एक राष्ट्र, एक वर्दी’’ का विचार प्रस्तुत किया। उनका यह विचार नागरिक केंद्रित सेवाओं के लिए एक आम नीति की उनकी सरकार की एक और योजना की तरह है। राज्यों के गृह मंत्रियों के यहां आयोजित दो दिवसीय ‘‘चिंतन शिविर’’ को वीडियो कांफ्रेंस के माध्यम से संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि यह उनकी तरफ से एक विचार मात्र है और वह इसे राज्यों पर थोपने का प्रयास नहीं कर रहे हैं। उन्होंने कहा, ‘‘पुलिस के लिए ‘एक राष्ट्र, एक वर्दी’ सिर्फ एक विचार है। मैं यह आप सभी पर थोपने की कोशिश नहीं रहा। इसके बारे में आप सोचिए। यह 5, 50 या सौ सालों में हो सकता है। लेकिन हमें इसके बारे में विचार करना चाहिए।’’
Addressing Chintan Shivir of Home Ministers of states being held in Haryana. https://t.co/LIMv4dfhWv
— Narendra Modi (@narendramodi) October 28, 2022
उन्होंने कहा कि इससे न केवल गुणवत्तापूर्ण उत्पादों का विनिर्माण सुनिश्चित होगा क्योंकि उनका बड़े पैमाने पर उपयोग किया जाएगा। उन्होंने कहा कि इससे कानून प्रवर्तन कर्मियों को एक आम पहचान भी मिलेगी और लोग उन्हें देश में कहीं भी पहचान सकेंगे। प्रधानमंत्री ने कहा कि उनका मानना है कि देश भर में पुलिस की पहचान एक जैसी हो सकती है। केंद्र सरकार इससे पहले, ‘‘एक राष्ट्र, एक मोबिलिटी’’ कार्ड, ‘‘एक राष्ट्र, एक राशन’’ कार्ड, ‘‘एक राष्ट्र, एक सांकेतिक भाषा’’ और ‘‘एक राष्ट्र, एक ग्रिड’’ जैसी योजनाएं आरंभ कर चुकी है। ‘‘एक राष्ट्र, एक कार्ड’’ लोगों को मेट्रो सेवाओं और देश भर में टोल टैक्स सहित कई प्रकार के परिवहन शुल्क का भुगतान करने में सक्षम करता है। इसी प्रकार सरकार ने ‘‘एक देश, एक राशन’’ कार्ड योजना की शुरुआत की थी। साल 2019 के अगस्त महीने से इसका क्रियान्वयन किया जा रहा है। अब तक 34 राज्य और केंद्र शासित प्रदेश इससे जुड़ चुके हैं।
देश में ग्रिड प्रबंधन क्षेत्रीय अधार पर 1960 के दशक में आरंभ हुआ। प्रारंभ में, एक क्षेत्रीय ग्रिड का निर्माण करने के लिए राज्य ग्रिडों को आपस में कनेक्ट किया गया और भारत को पांच क्षेत्रों अर्थात – उत्तरी, पूर्वी, पश्चिमी, उत्तर पूर्वी तथा दक्षिणी क्षेत्रों में सीमांकित किया गया। समय के साथ प्रत्येक ग्रिड को बिजली की अधिक उपलब्धता तथा बिजली के हस्तांतरण की अनुमति देने के लिए एक दूसरे के साथ कनेक्ट किया गया। 765 केवी रायचुर-सोलापुर ट्रांसमिशन लाइन की कमीशनिंग के साथ जब दक्षिणी क्षेत्र को मध्य ग्रिड के साथ जोड़ा गया तो सभी ग्रिड एक साथ आ गए और इस प्रकार ‘एक राष्ट्र-एक ग्रिड-एक फ्रीक्वेंसी‘ अर्जित कर ली गई। श्रीनगर लेह ट्रांसमिशन सिस्टम को राष्ट्रीय ग्रिड के साथ कनेक्ट किया गया तथा 2019 में प्रधानमंत्री मोदी द्वारा राष्ट्र को समर्पित किया गया।