नयी दिल्ली, पर्यावरण मंत्री गोपाल राय ने रविवार को कहा कि दिल्ली में प्रदूषण की समस्या का समाधान केवल सभी के साथ मिलकर प्रयास करने से किया जा सकता है। उन्होंने केंद्र सरकार से सर्दियों के दौरान कृत्रिम बारिश की अनुमति देने का आग्रह किया, क्योंकि इस दौरान शहर में वायु गुणवत्ता का स्तर गिर जाता है।
राय ने यहां संवाददाता सम्मेलन को संबोधित करते हुए कहा कि यद्यपि दिल्ली सरकार ने इस समस्या के समाधान के लिए कई कदम उठाए हैं, फिर भी राष्ट्रीय राजधानी और इसके आसपास नवंबर में प्रदूषण का स्तर बढ़ जाता है।
उन्होंने कहा, “दिल्ली, पंजाब, हरियाणा और उत्तर प्रदेश में आपात स्थिति पैदा हो जाती है। केजरीवाल सरकार प्रदूषण के स्तर को कम करने के लिए काम कर रही है। जब से हमारी सरकार सत्ता में आई है, प्रदूषण के स्तर में कमी आई है।”
उन्होंने कहा कि लेकिन नवंबर में प्रदूषण के स्तर में वृद्धि देखी जाती है।
राय ने कहा, “पिछले साल आईआईटी-कानपुर ने एक प्रस्ताव पेश किया था कि दिल्ली में कृत्रिम वर्षा या ‘क्लाउड सीडिंग’ का प्रयोग किया जा सकता है। उन्होंने कहा कि इसके लिए वित्तीय प्रबंधन और सुरक्षा अनुमति की आवश्यकता है। पिछले साल समय बहुत कम था, इसलिए अनुमति नहीं मिल सकी थी।”
उन्होंने कहा, “हमने विशेषज्ञों के साथ बैठक की और मैंने केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव को पत्र लिखकर केंद्र से मदद मांगी।”
राय ने कहा कि उन्होंने कृत्रिम वर्षा के प्रस्ताव पर चर्चा के लिए केंद्रीय एजेंसियों और आईआईटी कानपुर के विशेषज्ञों के साथ बैठक का अनुरोध किया है।
राय ने पिछले सप्ताह केंद्रीय पर्यावरण मंत्री भूपेंद्र यादव को पत्र लिखकर केंद्र से आग्रह किया था कि वह सर्दियों में वायु प्रदूषण से निपटने के लिए दिल्ली में कृत्रिम बारिश कराने के लिए ‘क्लाउड सीडिंग’ की व्यवहार्यता का मूल्यांकन करने के लिए सभी हितधारकों के साथ बैठक बुलाए।
उन्होंने कहा, ‘‘दिल्ली में इस प्रौद्योगिकी के इस्तेमाल के लिये रक्षा मंत्रालय, गृह मंत्रालय, एसपीजी, दिल्ली सरकार, भारतीय विमानपत्तन प्राधिकरण, आईएमडी, सीपीसीबी, एएसआई, बीसीएएस और उत्तर प्रदेश सरकार से अनुमति की आवश्यकता है। हम अपनी तरफ से धन और अनुमति देने के लिये तैयार हैं, लेकिन हमें केंद्र के सहयोग की आवश्यकता है।’’
रविवार को संवाददाता सम्मेलन में राय ने कहा कि प्रदूषण की समस्या से निपटने के लिए सबके साथ मिलकर काम करने तथा केंद्र और पड़ोसी राज्यों के सहयोग की आवश्यकता है।
उन्होंने राष्ट्रीय राजधानी में प्रदूषण को कम करने के लिये इलेक्ट्रिक बसों की खरीद और हरित आवरण को बढ़ाने समेत विभिन्न कदमों का हवाला दिया।
उन्होंने भाजपा और कांग्रेस का उल्लेख करते हुए कहा, ‘‘अगर अन्य दलों के पास प्रदूषण को कम करने के लिये कोई सुझाव है, तो उसे लागू करके हमें खुशी होगी।’’
भाजपा ने शनिवार को दिल्ली सरकार की आलोचना करते हुए उस पर स्वास्थ्य संबंधी खतरे से निपटने के लिए ठोस कदम उठाने के बजाय वायु प्रदूषण के मुद्दे पर केंद्र के साथ “राजनीतिक चालबाजियां” करने और “पत्र-व्यवहार” में लिप्त होने का आरोप लगाया था।
सत्तारूढ़ आप ने इन आरोपों को खारिज किया था।