मॉस्को, 16 अक्टूबर (भाषा) रूस के उप प्रधानमंत्री अलेक्जेंडर नोवाक ने बृहस्पतिवार को कहा कि रूस को विश्वास है कि भारत के साथ उसका ऊर्जा सहयोग जारी रहेगा।
नोवाक का यह बयान ऐसे समय में आया है जब एक दिन पहले ही अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने दावा किया था कि भारत ने उन्हें रूस से तेल खरीदना बंद करने का आश्वासन दिया है।
स्वतंत्र समाचार एजेंसी ‘इंटरफैक्स’ ने नोवाक के हवाले से कहा, ‘‘ हम अपने मित्रवत साझेदारों के साथ सहयोग जारी रखेंगे। हमारे ऊर्जा संसाधनों की मांग बनी हुई है। यह आर्थिक रूप से व्यवहार्य और व्यावहारिक है।’’
नोवाक रूस के ऊर्जा क्षेत्र को भी देखते हैं।
उन्होंने कहा, ‘‘ ….मुझे विश्वास है कि हमारे साझेदार हमारे साथ काम करना, बातचीत करना और ऊर्जा सहयोग विकसित करना जारी रखेंगे।’’
नोवाक ने यह टिप्पणी ट्रंप के इस दावे के जवाब में की कि जिसमें अमेरिकी राष्ट्रपति ने कहा था कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उन्हें आश्वासन दिया है कि भारत, रूसी कच्चा तेल खरीदना बंद कर देगा।
अमेरिकी राष्ट्रपति ने दावा किया कि यद्यपि भारत खरीद में तत्काल कटौती नहीं कर सकेगा लेकिन ऐसा करना जरूर शुरू कर देगा।
नोवाक ने कहा, ‘‘ आज हमें मीडिया में केवल यही सुनने को मिल रहा है कि हमारे साझेदार यह घोषणा कर रहे हैं कि कोई भी उन पर हुक्म नहीं चला सकता और वे अपना रास्ता स्वयं चुनेंगे।’’
ट्रंप के तेल व्यापार संबंधी दावों के जवाब में भारत ने बृहस्पतिवार को कहा कि वह बाजार की स्थितियों को पूरा करने के लिए अपनी ऊर्जा स्रोतों को ‘‘ व्यापक कर रहा है और उसमें विविधता’’ ला रहा है।
भारत ने इस बात पर जोर दिया कि उसकी आयात नीतियां पूरी तरह से राष्ट्रीय हित पर आधारित होंगी।
पारंपरिक रूप से पश्चिम एशियाई तेल पर निर्भर भारत ने फरवरी, 2022 में रूसी सेना के यूक्रेन पर आक्रमण के बाद रूस से अपने आयात में उल्लेखनीय वृद्धि की। पश्चिमी प्रतिबंधों और यूरोपीय मांग में कमी के कारण रूसी तेल भारी छूट पर उपलब्ध हो रहा है।
स्वतंत्र समाचार एजेंसी ‘इंटरफैक्स’ के अनुसार, 2025 के पहले सात महीने में रूसी कच्चे तेल का निर्यात 8.75 करोड़ टन या भारत के कुल आयात का 36.4 प्रतिशत रहा।
रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन ने हाल ही में कहा था कि उन्होंने सरकार को भारत के साथ व्यापार असंतुलन को कम करने के लिए कदम उठाने का आदेश दिया है।