सरकार अवैध प्रवासियों के खिलाफ कदम उठाने के लिए प्रतिबद्ध: मणिपुर के राज्यपाल

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चूड़ाचांदपुर, 13 सितंबर (भाषा) मणिपुर के राज्यपाल अजय कुमार भल्ला ने शनिवार को चूड़ाचांदपुर के लोगों से ‘‘सीमा पार के निवासियों को अवैध रूप से बसने’’ की अनुमति न देने का आग्रह किया। उन्होंने कहा कि सरकार इस चुनौती से निपटने के लिए प्रभावी कदम उठाने को प्रतिबद्ध है।

चूड़ाचांदपुर में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने शनिवार को 7,300 करोड़ रुपये से अधिक की परियोजनाओं की आधारशिला रखी।

भल्ला ने शहर में आयोजित एक जनसभा को संबोधित करते हुए कहा कि उन्हें यकीन है कि मणिपुर अधिक मजबूत, एकजुट और समृद्ध बनकर उभरेगा।

राज्यपाल ने कहा, ‘‘हम सीमा पार के लोगों को अपनी जमीन पर अतिक्रमण करने की इजाजत नहीं दे सकते। राज्य और केंद्र दोनों ही इस चुनौती से निपटने के लिए प्रभावी कदम उठाने को प्रतिबद्ध हैं।’’

उन्होंने बताया कि मणिपुर में जातीय हिंसा के कारण विस्थापित हुए लोगों के पुनर्वास के लिए तीन चरणीय पुनर्वास योजना तैयार की गई है।

भल्ला ने कहा, ‘‘आंतरिक रूप से विस्थापित व्यक्तियों (आईडीपी) को जल्द से जल्द बसाने के लिए तीन चरणों वाली पुनर्वास योजना तैयार की गई है। सुरक्षा और स्थिरता को मजबूत करने के लिए अतिरिक्त सुरक्षाकर्मियों एवं क्यूआरटी (त्वरित प्रतिक्रिया टीम) की तैनाती की गई है। प्रधानमंत्री मोदी आपके लिए आशा की किरण हैं।’’

उन्होंने कहा कि चूड़ाचांदपुर सिर्फ एक भौगोलिक स्थान नहीं है, बल्कि समृद्ध सांस्कृतिक विविधता और लचीलेपन की भूमि है।

भल्ला ने कहा, ‘‘प्रधानमंत्री मोदी लंबी यात्रा के बाद इस शहर में पहुंचे हैं। इस भूमि के लोग, जो विभिन्न जनजातीय और जातीय समुदायों का प्रतिनिधित्व करते हैं, पीढ़ियों से हमारे राज्य के सामाजिक, सांस्कृतिक एवं आर्थिक ताने-बाने में योगदान देते रहे हैं।’’

उन्होंने कहा, ‘‘कनेक्टिविटी, बुनियादी ढांचे, शिक्षा और स्वास्थ्य देखभाल पर ध्यान केंद्रित करने से हमारे युवाओं के लिए उम्मीद की किरण जगी है और नए अवसरों के द्वार खुले हैं। आज, जब हम भविष्य की ओर देखते हैं, तो हम उन चुनौतियों को भी स्वीकार करते हैं, जिनका हमें मिलकर सामना करना होगा। इनमें शांति, विकास और विश्वास की चुनौतियां शामिल हैं।’’

भल्ला ने कहा कि विकास को देश के सुदूरतम कोने तक पहुंचाना ‘विकसित भारत’ दृष्टिकोण की बुनियाद है।

उन्होंने कहा, ‘‘यह समय जख्मों से उबरने और संवाद, समझ एवं समावेशी शासन के साथ आगे बढ़ने का है। मुझे भरोसा है कि मणिपुर और अधिक मजबूत, लचीला, एकजुट तथा समृद्ध बनकर उभरेगा। हम सभी को अपने समाज में शांति बहाल करने के प्रयासों में योगदान देना चाहिए।’’

राज्यपाल ने कहा, ‘‘चूड़ाचांदपुर जिला राज्य की सर्वोच्च प्राथमिकता रहा है। सीमावर्ती जिला होने के नाते, सरकार यहां कनेक्टिविटी और आवश्यक बुनियादी ढांचा प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।’’

मणिपुर में फरवरी से राष्ट्रपति शासन लागू है।

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