रूस ने एमनेस्टी इंटरनेशनल को प्रतिबंधित किया

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मास्को, रूसी अधिकारियों ने सोमवार को अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार समूह एमनेस्टी इंटरनेशनल को ‘अवांछनीय संगठन’ करार देते हुए इसे प्रतिबंधित कर दिया।

एमनेस्टी इंटरनेशनल को ‘अवांछनीय संगठन’ के रूप में घोषित करने का फैसला 2015 के कानून के तहत लिया गया है, जिसके तहत ऐसे संगठनों के साथ भागीदारी अपराध है।

रूसी महा अभियोजक के कार्यालय द्वारा जारी एक बयान में घोषित किया गया यह निर्णय क्रेमलिन के आलोचकों, पत्रकारों और कार्यकर्ताओं के खिलाफ लगातार कार्रवाई का नया चरण है, जो फरवरी 2022 में रूस के यूक्रेन के साथ युद्ध छेड़ने के बाद काफी बढ़ गया।

इस फैसले के साथ ही अंतरराष्ट्रीय मानवाधिकार समूह को रूस में सभी कार्य बंद करने होंगे और जो लोग इसके साथ सहयोग करेंगे या इसका समर्थन करेंगे, उनके खिलाफ मुकदमा चलाया जाएगा।

रूस में ‘अवांछनीय संगठन’ की सूची में अभी 223 संस्थाएं शामिल हैं, जिनमें प्रमुख समाचार पत्र और अधिकार समूह शामिल हैं।

एमनेस्टी इंटरनेशनल की स्थापना 1961 में हुई थी। यह समूह दुनिया भर में मानवाधिकारों के उल्लंघन का दस्तावेजीकरण व उनकी रिपोर्ट करता है और उन लोगों की रिहाई के लिए अभियान चलाता है, जिन्हें वह अन्यायपूर्ण तरीके से कैद मानता है।

एमनेस्टी ने यूक्रेन में रूस के युद्ध पर रिपोर्ट जारी की है, जिसमें मास्को पर मानवता के खिलाफ अपराध का आरोप लगाया गया है।

रूसी महा अभियोजक ने सोमवार को अपने बयान में समूह (एमनेस्टी) पर रूस के प्रति पूर्वाग्रह से प्रभावित होने और देश के राजनीतिक व आर्थिक अलगाव के उद्देश्य से गतिविधियां चलाने का आरोप लगाया।

एमनेस्टी इंटरनेशनल ने इस कदम पर तुरंत कोई टिप्पणी नहीं की।

 

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