वाशिंगटन, 18 अप्रैल (एपी) अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने नीतिगत दर में कटौती नहीं करने को लेकर फेडरल रिजर्व के प्रमुख जेरोम पॉवेल की तीखी आलोचना की है। इससे अमेरिकी केंद्रीय बैंक की स्वतंत्रता को लेकर सवाल उठने लगे हैं।
इस बीच, अमेरिका का उच्चतम न्यायालय एक ऐसे मामले पर विचार कर रहा है, जिससे ट्रंप के लिए पॉवेल को बर्खास्त करना आसान हो सकता है।
ये घटनाक्रम ट्रंप के विभिन्न देशों पर शुल्क लगाने की घोषणा के बाद अर्थव्यवस्था और वित्तीय बाजारों में व्यापक उथल-पुथल के बीच हो रहे हैं।
ज्यादातर अर्थशास्त्रियों को चिंता है कि फेडरल रिजर्व की लंबे समय से चली आ रही स्वतंत्रता पर हमला, बाजारों को और बाधित करेगा।
ट्रंप ने बृहस्पतिवार को प्रमुख ब्याज दर में तेजी से कटौती नहीं करने के लिए फेडरल रिजर्व की आलोचना की और कहा कि उनके पास पॉवेल को हटाने की शक्ति है।
राष्ट्रपति ने कहा, ”अगर मैं उन्हें बाहर करना चाहता हूं, तो वह बहुत जल्दी बाहर हो जाएंगे, मेरा भरोसा कीजिए।”
ट्रंप ने साथ ही जोड़ा, ”मैं उनसे खुश नहीं हूं।”
अमेरिकी फेडरल रिजर्व का अर्थव्यवस्था पर काफी प्रभाव है। फेड ब्याज दरों को कम करके उधार लेना सस्ता बना सकता है और अधिक खर्च को प्रोत्साहित कर सकता है। जब अर्थव्यवस्था कमजोर होती है, तो ऐसा किया जाता है। इसके विपरीत जब अर्थव्यवस्था में अप्रत्याशित तेजी आ जाती है, तो ब्याज दरों को बढ़ाया जाता है।
पॉवेल को हटाने का प्रयास किया गया तो इससे शेयर बाजारों में गिरावट आ सकती है और बॉन्ड प्रतिफल बढ़ सकता है। इसलिए अधिकांश निवेशक एक स्वतंत्र केंद्रीय बैंक को पसंद करते हैं।
हालांकि पॉवेल का कहना है कि फेडरल रिजर्व की स्थापना करने वाला कानून राष्ट्रपति को किसी विशेष कारण के अलावा उन्हें निकालने की अनुमति नहीं देता है।
ज्यादातर कानून के जानकार मानते हैं कि ट्रंप उन्हें फेडरल रिजर्व के बोर्ड ऑफ गवर्नर्स से नहीं निकाल सकते हैं, हालांकि कुछ का मानना है कि उन्हें चेयरमैन पद से हटाया जा सकता है।