न्यूयॉर्क, 13 अप्रैल (भाषा) होलटेक के मुख्य कार्यपालक अधिकारी (सीईओ) डॉ. क्रिस सिंह ने कहा है कि भारत को ‘परमाणु ऊर्जा पर नए सिरे से काम करने’ की जरूरत है और अमेरिका परमाणु अवसंरचना विकसित करने में देश की मदद करने में रुचि रखता है, क्योंकि दोनों देशों की इस क्षेत्र में काफी दिलचस्पी है।
उन्होंने आशा व्यक्त की कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के नेतृत्व में इस दिशा में चीजें आगे बढ़ेंगी।
सिंह ने कैमडेन, न्यूजर्सी में कृष्णा पी सिंह प्रौद्योगिकी परिसर में एक विशेष साक्षात्कार में ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, “भारत और अमेरिका की स्वच्छ ऊर्जा में रणनीतिक रुचि है… परमाणु ऊर्जा को एकता का सूत्रधार होना चाहिए और भारत को स्वाभाविक रूप से इसमें अग्रणी भूमिका निभानी चाहिए। इसके लिए, भारत के पास निर्यात योग्य प्रौद्योगिकी होनी चाहिए।”
होलटेक इंटरनेशनल एक विविध ऊर्जा प्रौद्योगिकी कंपनी है, जिसे कार्बन उत्सर्जन मुक्त बिजली उत्पादन, विशेष रूप से वाणिज्यिक परमाणु और सौर ऊर्जा के क्षेत्र में अग्रणी प्रौद्योगिकी नवोन्मेषक के रूप में मान्यता प्राप्त है।
पिछले साल सितंबर में, सिंह ने संयुक्त राष्ट्र महासभा के उच्चस्तरीय सत्र के लिए प्रधानमंत्री की यात्रा के दौरान यहां प्रधानमंत्री मोदी से मुलाकात की थी। उन्होंने भारत में विनिर्माण का विस्तार करने की होलटेक की योजना और असैन्य परमाणु ऊर्जा के क्षेत्र में सहयोग बढ़ाने पर चर्चा की थी।
कंपनी ने पिछले महीने घोषणा की थी कि अमेरिकी ऊर्जा विभाग ने भारत सरकार की सहमति से होलटेक इंटरनेशनल को भारत में कामकाज के लिए कंपनी के प्रमुख छोटे मॉड्यूलर रिएक्टर एसएमआर-300 को बेचने के लिए विशिष्ट अधिकार प्रदान किया है।