वाशिंगटन, 14 फरवरी (भाषा) प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने कहा कि उन्होंने अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के साथ मुलाकात के दौरान उद्योगपति गौतम अदाणी के खिलाफ अमेरिकी सरकार के रिश्वतखोरी के आरोपों पर चर्चा नहीं की।
व्हाइट हाउस में एक प्रेस वार्ता के दौरान मोदी से पूछा गया कि क्या उन्होंने कथित रिश्वतखोरी योजना में शामिल होने को लेकर न्यूयॉर्क की एक अदालत में अदाणी और उनके प्रमुख सहयोगियों पर चल रहे मुकदमे का मुद्दा उठाया।
उन्होंने कहा, ”सबसे पहले, भारत एक लोकतांत्रिक देश है और हमारी संस्कृति और हमारा विचार दर्शन ‘वसुधैव कुटुंबकम’ है। हम पूरी दुनिया को एक परिवार मानते हैं। मेरा मानना है कि हर भारतीय मेरा है।”
इसके बाद उन्होंने कहा कि जब दो वैश्विक नेता मिलते हैं, तो ऐसे ‘व्यक्तिगत मामलों’ पर चर्चा नहीं की जाती है।
उन्होंने कहा, ”दो देशों के दो प्रमुख नेता ऐसे व्यक्तिगत मामलों पर कभी चर्चा नहीं करते हैं।”
ट्रंप ने प्रेस वार्ता के दौरान इस मामले का कोई जिक्र नहीं किया।
बंदरगाहों से लेकर ऊर्जा तक के कारोबार से जुड़े अदाणी समूह के संस्थापक चेयरमैन गौतम अदाणी, सागर अदाणी और प्रमुख कार्यकारी अधिकारी विनीत जैन पर अमेरिकी न्याय मंत्रालय ने आरोप लगाया है कि वे भारतीय अधिकारियों को 26.5 करोड़ अमेरिकी डॉलर की रिश्वत देने की कथित साजिश का हिस्सा थे।
यह रिश्वत कथित रूप से सौर बिजली की आपूर्ति के लिए ठेका हासिल करने के लिए दी गई थी। अदाणी समूह ने इन आरोपों को पूरी तरह से निराधार बताया।