बुमराह के स्पैल से बचकर भाग्यशाली रहा, भारत के खिलाफ रन बनाना अच्छा रहा: हेड

0
Jasprit-Bumrah-16

ब्रिस्बेन, 15 दिसंबर (भाषा) ट्रेविस हेड भारत के खिलाफ एक और शतक जड़कर खुश हैं लेकिन ऑस्ट्रेलिया के इस बाएं हाथ के बल्लेबाज ने माना कि तीसरे टेस्ट के दूसरे दिन वह जसप्रीत बुमराह के शानदार स्पैल से बचकर भाग्यशाली रहे।

हेड ने 152 रन की पारी खेली जो भारत के खिलाफ उनकी पिछली छह पारियों में तीसरा शतक था। उन्होंने शतकवीर स्टीव स्मिथ (101) के साथ मिलकर ऑस्ट्रेलियाई टीम को सात विकेट पर 405 रन के विशाल स्कोर तक पहुंचाया।

हेड ने मेजबान प्रसारक से कहा, ‘‘मैं बुमराह के अच्छे स्पैल से बचकर थोड़ा भाग्यशाली रहा। वह शुरुआत में स्टंप के बेस पर गेंद फेंकते हैं। मुझे लगता है कि यह प्रतिक्रिया करने के बारे में है। उनके पास अच्छी बाउंसर है। उनके पास शानदार विकेट लेने वाली गेंदें हैं। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘मैं मानता हूं कि उनके खिलाफ सकारात्मक रहना महत्वपूर्ण है। इसका मतलब यह नहीं है कि मुझे उनके खिलाफ रन बनाने की जरूरत है बल्कि यह मेरे फॉरवर्ड डिफेंस के साथ सक्रिय रहने के बारे में है। ’’

लेकिन हेड भारत पर अपना दबदबा बनाए रखने से खुश हैं। उन्होंने पिछले साल ओवल में डब्ल्यूटीसी फाइनल में शतक बनाया था और फिर बॉर्डर-गावस्कर ट्रॉफी के दूसरे टेस्ट में एडिलेड में शतक बनाया था।

हेड ने कहा, ‘‘हम भारत के साथ बहुत अधिक खेलते हैं। रन बनाना अच्छा है। इस हफ्ते भी रन बनाना विशेष है। मुझे लगा कि मैंने एडिलेड और पर्थ में अच्छी बल्लेबाजी की। ’’

उन्होंने कहा, ‘‘भारत का सामना करना बहुत चुनौतीपूर्ण हैं। उनके खिलाफ जितना संभव हो उतना सकारात्मक रहना चाहिए। ’’

हेड ने स्मिथ की भी प्रशंसा की जिनके साथ उन्होंने चौथे विकेट के लिए 200 से अधिक रन की साझेदारी की और ऑस्ट्रेलिया को मजबूत स्थिति में पहुंचाया।

उन्होंने कहा, ‘‘मैंने हमेशा स्टीव के बारे में इस बात का आनंद लिया है। मैंने महसूस किया है कि जब वह लय में होता है और अच्छी बल्लेबाजी करता है तो मेरी ओर किसी का ध्यान नहीं जाता। मुझे लगा कि वह सही में अच्छा खेल रहा था। ’’

यह 30 वर्षीय खिलाड़ी टेस्ट में अपना पहला दोहरा शतक बनाने के लिए आगे बढ़ रहा था लेकिन वह इस उपलब्धि से चूकने से बहुत दुखी नहीं दिखे।

उन्होंने कहा, ‘‘मैं सिर्फ रन बनाने की कोशिश कर रहा हूं। अगर खेल में रन बनाने का मौका मिलता है तो मैं रन बनाना चाहता हूं। मैं यहां मील के पत्थर हासिल करने के लिए नहीं आया हूं, मैं वाकई लड़कों के लिए अच्छा खेलना चाहता हूं। मुझे टीम से लगाव है। मैं जो करता हूं, उसका आनंद लेता हूं। मैं वही करने की कोशिश करता हूं, जिसकी टीम को जरूरत है। ’’

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *