नयी दिल्ली, छह दिसंबर (भाषा) सरकार ने शुक्रवार को राज्यसभा में कहा कि देश का हीरा क्षेत्र पिछले तीन साल से मांग में कमी और रूस पर जी7 प्रतिबंध आदि के कारण चुनौतियों का सामना कर रहा है।
वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने एक सवाल के लिखित जवाब में उच्च सदन को यह जानकारी दी। उनसे सवाल किया गया था कि क्या यह सच है कि पिछले तीन साल से देश में हीरा क्षेत्र को भारी मंदी का सामना करना पड़ रहा है।
इसके जवाब में गोयल ने कहा, ‘‘जी हां, हीरा क्षेत्र पिछले तीन साल से प्रमुख निर्यात गंतव्यों में मांग में कमी और रूसी मूल के हीरों पर जी 7 प्रतिबंधों जैसे आपूर्ति संबंधी वजहों के कारण चुनौतियों का सामना कर रहा है।’’
उन्होंने कहा कि वित्त वर्ष 2023-24 में हीरे का निर्यात घटकर 18.37 अरब अमेरिकी डॉलर रह गया जो 2021-22 में 25.48 अरब अमेरिकी डॉलर था। उन्होंने बताया कि पिछले वित्त वर्ष में आयात भी घटकर 23 अरब अमेरिकी डॉलर रह गया, जबकि 2021-22 में यह 28.86 अरब अमेरिकी डॉलर था।
गोयल ने बताया कि अक्टूबर 2020 के नेशनल काउंसिल ऑफ एप्लाइड इकोनॉमिक रिसर्च (एनसीएईआर) रत्न और आभूषण अध्ययन के अनुसार, हीरा उद्योग में लगभग 18,036 कंपनियां और 8,19,926 कर्मचारी हैं।