भाजपा और उसके सहयोगी भ्रष्टाचार में लिप्त हैं, विकृत इतिहास का प्रचार कर रहे हैं: सुले

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पुणे, 11 नवंबर (भाषा) राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) की कार्यकारी अध्यक्ष सुप्रिया सुले ने राज्य में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और उसके सहयोगी दलों के भ्रष्टाचार में डूबे होने का सोमवार को दावा किया और उन पर महाराष्ट्र की महान हस्तियों का अपमान करने तथा ‘‘विकृत’’ इतिहास का प्रचार करने का आरोप लगाया।

महाराष्ट्र में 20 नवंबर को होने वाले विधानसभा चुनाव से पहले यहां संवाददाताओं से बातचीत में सुले ने कहा कि भाजपा और उसके सहयोगियों के पास आज विपक्ष के बारे में बात करने के लिए कुछ नहीं है।

बारामती से लोकसभा सदस्य सुले ने कहा, “पिछले चुनाव में, इन्होंने भ्रष्टाचार जैसे मुद्दे उठाए थे। आज ये कुछ नहीं कर रहे हैं क्योंकि ये खुद पूरी तरह भ्रष्टाचार में डूबे हुए हैं और भाजपा और उसके सहयोगियों के पास हमारे खिलाफ बोलने के लिए कुछ नहीं है।”

‘महायुति’ के इस दावे पर कि विपक्षी महा विकास आघाडी (एमवीए) ने राज्य में सत्तारूढ़ गठबंधन की लाडकी बहिन जैसी योजनाओं की नकल की है और उन्हें अपने घोषणापत्र में शामिल किया है, सुले ने कहा कि वह कांग्रेस और राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (राकांपा) थी जिसने सत्ता में रहने के दौरान किसानों को सबसे बड़ी ऋण माफी प्रदान की थी। उन्होंने कहा कि वह कांग्रेस और राकांपा थी जिसने कृषि उपज के लिए एक मूल्य गारंटी दी थी।

एमवीए के विरोधियों की ओर से “अर्बन नक्सल” और कांग्रेस के कुछ नेताओं द्वारा अपने प्रचार अभियान में संविधान की “लाल किताब” प्रदर्शित किए जाने का मुद्दा उठाए जाने के बारे में पूछे जाने पर, सुले ने दावा किया कि भाजपा की मानसिकता महिला विरोधी है।

उन्होंने आरोप लगाया कि उनके ‘बड़बोले नेता’ छत्रपति शिवाजी महाराज, शाहू महाराज, महात्मा फुले और डॉ. बाबासाहेब आंबेडकर जैसी महान हस्तियों का अपमान करते रहते हैं।

सुले ने आरोप लगाया, ‘‘भाजपा और उसके गठबंधन सहयोगी इन सभी महान हस्तियों का अपमान करते रहे हैं और विकृत इतिहास का प्रचार कर रहे हैं।’’

उन्होंने यह भी दावा किया कि भाजपा के कुछ सांसद कोल्हापुर में महिलाओं को धमका रहे हैं और कहा कि विपक्ष अदालत जाएगा और निर्वाचन आयोग से भी शिकायत करेगा।

राज्य के चुनाव प्रचार में भाजपा द्वारा (जम्मू कश्मीर को विशेष दर्जा प्रदान करने वाले) अनुच्छेद 370 के अधिकतर प्रावधान रद्द किये जाने के केंद्र के कदम का उल्लेख करके के बारे में पूछे जाने पर सुले ने कहा कि उनके पास कोई एजेंडा नहीं है और दिखाने के लिए कुछ भी नहीं है।

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