नयी दिल्ली, 10 सितंबर (भाषा) वैश्विक अपराध निगरानी संस्था एफएटीएफ 19 सितंबर को जारी होने वाली ‘पारस्परिक मूल्यांकन रिपोर्ट’ में आतंकवाद के वित्तपोषण और धन शोधन से निपटने के लिए भारत के कदमों पर प्रकाश डालेगी।
आधिकारिक सूत्रों ने मंगलवार को जानकारी दी कि रिपोर्ट में प्राथमिकता वाले कार्रवाई क्षेत्रों के बारे में भी बताया जाएगा।
वित्तीय कार्रवाई कार्यबल (एफएटीएफ) ने जून में भारत पर पारस्परिक मूल्यांकन रिपोर्ट को स्वीकार किया और देश को ‘नियमित अनुवर्ती’ श्रेणी में रखा था। यह वैश्विक निगरानी संस्था की उच्चतम रेटिंग है और केवल चार अन्य जी20 देशों को यह रेटिंग मिली है।
‘नियमित अनुवर्ती श्रेणी’ वाले देशों को स्वैच्छिक आधार पर तीन साल में एक बार एफएटीएफ को अनुवर्ती रिपोर्ट देनी होती है।
आधिकारिक सूत्रों ने बताया कि एफएटीएफ के 40 मापदंडों में भारत को 37 मापदंडों में सर्वोच्च रेटिंग मिली है।
सूत्रों ने बताया कि 19 सितंबर की रिपोर्ट में एफएटीएफ प्राथमिकता वाले कार्य बिंदु का उल्लेख करेगी।
उन्होंने कहा कि रिपोर्ट में अधिकांश मापदंडों पर भारत को सकारात्मक रेटिंग मिलेगी, जबकि कुछ ऐसे बिंदु होंगे जिनपर एफएटीएफ ने सुधार का सुझाव दिया है।