मुकेश के विधायक बने रहना का नैतिक, कानूनी आधार नहीं: भाकपा नेता एनी राजा

तिरुवनंतपुरम,  भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) की नेता एनी राजा ने बृहस्पतिवार को कहा कि मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) के विधायक और मलयालम अभिनेता एम मुकेश के विधायक बने रहने का अब कानूनी या नैतिक आधार नहीं है, क्योंकि उनके खिलाफ बलात्कार का मामला दर्ज किया गया है।

राजा ने कहा कि न्यायमूर्ति हेमा समिति की रिपोर्ट सार्वजनिक होने के बाद कुछ महिलाओं ने विधायक के खिलाफ आरोप लगाए हैं और उस समय भी भाकपा का मानना ​​था कि उन्हें इस्तीफा दे देना चाहिए ताकि सच सामने आ सके।

उन्होंने कहा, ‘‘अब जब उनके खिलाफ मामला दर्ज हो गया है तो उनके पास उस पद पर बने रहने का नैतिक या कानूनी आधार नहीं रह गया है। उन्हें विधायक के रूप में अपने पद से इस्तीफा दे देना चाहिए।’’

उन्होंने कहा, ‘‘यह कदम हेमा समिति के निष्कर्षों और सिफारिशों के मद्देनजर फिल्म उद्योग में कार्य के दौरान महिलाओं के लिए सुरक्षित वातावरण सुनिश्चित करने के राज्य सरकार के प्रयासों के अनुरूप होगा।’’

भाकपा नेता ने कहा कि अगर मुकेश विधायक पद से इस्तीफा नहीं देते हैं, तो राज्य सरकार के ‘‘ईमानदार’’ प्रयास बाधित हो जाएंगे। उन्होंने कहा, ‘‘इससे राज्य सरकार की छवि पर भी असर पड़ेगा। वाम मोर्चा महिलाओं का समर्थक है।’’

वाम लोकतांत्रिक मोर्चा (एलडीएफ) के कुछ मंत्रियों ने कहा था कि सरकार मुकेश के संबंध में कार्रवाई करने से पहले जांच के नतीजे का इंतजार करेगी।

राज्य के मंत्रियों के एन बालगोपाल और ए के शशींद्रन ने संकेत दिया था कि आगे की कार्रवाई विशेष पुलिस टीम की जांच के निष्कर्षों पर निर्भर करेगी।

मुकेश पर एक अभिनेत्री ने आरोप लगाया है कि अभिनेता ने कई साल पहले उसका यौन उत्पीड़न किया था जिसके आधार पर यह मामला दर्ज किया गया।

एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि बुधवार रात कोच्चि शहर के मरदु पुलिस थाने में अभिनेता के खिलाफ भारतीय दंड संहिता की धारा 376 (बलात्कार) के तहत प्राथमिकी दर्ज की गई।

उन्होंने बताया कि यह मामला भारतीय दंड संहिता के तहत इसलिए दर्ज किया गया है, क्योंकि कथित अपराध भारतीय न्याय संहिता के लागू होने से पहले हुआ था।

न्यायमूर्ति हेमा समिति की रिपोर्ट में किए गए खुलासों के बाद विभिन्न निर्देशकों और अभिनेताओं पर यौन उत्पीड़न के आरोप लगे हैं। तब से मलयालम फिल्म जगत की किसी ‘हाई प्रोफाइल’ हस्ती के खिलाफ यह तीसरी प्राथमिकी है।

इससे पहले, तिरुवनंतपुरम ‘म्यूजियम पुलिस’ ने आठ साल पहले एक होटल में एक अभिनेत्री से बलात्कार करने के आरोप में अभिनेता सिद्दीकी के खिलाफ बुधवार को मामला दर्ज किया था।

पहला मामला भारतीय दंड संहिता की धारा 354 (महिला की गरिमा को ठेस पहुंचाने के इरादे से उस पर हमला करना या आपराधिक बल प्रयोग) के तहत निर्देशक रंजीत के खिलाफ पश्चिम बंगाल की एक अभिनेत्री की शिकायत पर दर्ज किया गया था। यह शिकायत 2009 की एक घटना के संबंध में की गई है।

अभिनेत्री ने आरोप लगाया है कि निर्देशक ने 2009 में फिल्म ‘पालेरी मणिक्यम’ में अभिनय के लिए आमंत्रित करने के बाद उसे अनुचित तरीके से छुआ था।

इन आरोपों को लेकर रंजीत ने केरल चलचित्र अकादमी के अध्यक्ष पद से इस्तीफा दे दिया था। सिद्दीकी ने भी अपने खिलाफ लगे आरोपों के बाद ‘मलयालम मूवी आर्टिस्ट एसोसिएशन’ (एएमएमए) के महासचिव पद से इस्तीफा दे दिया था।

वर्ष 2017 में एक अभिनेत्री पर हमले के बाद केरल सरकार द्वारा गठित न्यायमूर्ति हेमा समिति की रिपोर्ट में मलयालम फिल्म उद्योग में महिलाओं के उत्पीड़न एवं शोषण के मामलों का खुलासा किया गया है।