परिवार को टूटने से कैसे बचाएं

शहरीकरण की वजह से आज संयुक्त परिवार टूटने लगे हैं पर इसके बावजूद  अगर हम चाहें तो अपने दिलों के तार से अपने मूल परिवार से जुड़े रह सकते हैं। टूटते परिवार को बचाने के लिए मुख्य उपाय इस प्रकार हैं-
* अपने गृहनगर जनपद या देश के किसी महानगर में रहते हैं तो अपने समयानुसार मुख्य छुट्टियों पर घर आते रहें।
* प्रमुख उत्सवों, तीज-त्योहारों, पारिवारिक रस्मों में सम्मिलित होने की भरसक कोशिश करें।
* किसी भी महत्वपूर्ण मुद्दों पर निर्णय लेते समय  पहले परिवार के बड़े सदस्यों से सलाह अवश्य लें। जो जिस लायक है, उसे उस प्रकार का सम्मान दें।
* घर में कोई बेरोजगार युवक है तो अपने स्तर से उसे रोजगार दिलाने की कोशिश करें।
* किसी खास मौके पर उपहार लाते समय यह ध्यान रखें कि इससे किसी को तकलीफ तो नहीं हो रही।
* बच्चों को परिवार के लोगों के बारे में जानकारी दें।
* शिष्टता एवं व्यवहार कुशलता का ध्यान रखें।
* घर में हो रहे किसी सामूहिक कार्य में अपनी स्थिति के अनुसार शारीरिक, आर्थिक सहयोग प्रदान करें।
* परिवार के सभी सदस्यों के मनोभावों को समझें। किसी भी बात को अन्यथा न लें।
* परिवार में अपने विशिष्ट होने का प्रदर्शन करें एवं छोटे-छोटे किसी मतभेद को कारण न बनायें।
* किसी प्रमुख मौके पर आप स्वयं नहीं पहुंच रहे हैं तो पत्नी को अवश्य भेजें। अगर बच्चों की परीक्षा अथवा किसी आकस्मिक कारण से वे भी नहीं आ पा रही हैं, तो पत्र के माध्यम से वास्तविकता बताते हुए न आने का खेद प्रकट करें एवं बेहतर हो तो विनम्रता से माफी के दो शब्द भी पत्र में जोड़ दें।
* आप गृहिणी हैं तो अपनी सास, ननद, बड़ी जेठानी, देवरानी से अच्छा बर्ताव करें और कम से कम समय में ज्यादा से ज्यादा उनका सहयोग करें।
* परिवार के समस्त छोटे बच्चों के साथ अपने ही बच्चों जैसा व्यवहार करें। खाने-पीने, नहाने आदि की जो वस्तुएं हों, वे एक समान व उसी स्तर की हों।
* किसी भी शिकायत को परिवार के सभी लोग मिल-बैठकर सुलझाएं। किसी भी सदस्य के प्रति दुर्भावना न रखें।
* अगर किसी व्यक्ति से आपकी व्यक्तिगत शिकायत है तो परिवार के श्रेष्ठ व्यक्ति से उस बात को कहें।
* अगर आप विदेश में रहते हैं तो संचार माध्यमों, पत्रों, फोन, ईमेल आदि से अपने बारे में समस्त सूचनाएं समय-समय पर परिवार वालों को प्रेषित करें।
* संबंधों के मध्य पत्र संवाद मानवीय जरूरत रही है एवं आत्मीय संवेदनाओं को प्रदर्शित करने का एक माध्यम भी।
* अगर आप बाहर रहते हैं तो आपकी यह विवशता है यानी रोटी, कपड़ा और मकान जो प्रत्येक मानव समाज की आवश्यकता है पर ध्यान रहे पर मूल परिवार से संबंध न तोड़ें।
उपरोक्त उपायों को जीवन में अपनाकर परिवारों के संबंध को संजोया जा सकता है।