कान्स, 77वें कान्स फिल्म फेस्टिवल में भारतीय फिल्म और टेलीविजन संस्थान (एफटीआईआई) के छात्र चिदानंद एस नाइक की 16 मिनट की शार्ट फिक्शन फिल्म ‘सनफ्लावर्स वर द फर्स्ट वन टू नो’ का मंगलवार को प्रीमियर हुआ।
कन्नड़ भाषा की इस फिल्म की कहानी एक लोक कथा पर आधारित है। फिल्म में एक बूढ़ी महिला के मुर्गे की चोरी से उसका गाँव हमेशा के लिए अंधेरे में डूब जाता है।
पुरस्कार की घोषणा बृहस्पतिवार को की जाएगी। निर्णायक मंडल में कुल पांच सदस्य है और बेल्जियम की अभिनेत्री लुबना अजाबल इसकी अध्यक्षता कर रही है।
नाइक ने एमबीबीएस की डिग्री हासिल कर कुछ समय तक चिकित्सा का अभ्यास करने के बाद फिल्म निर्माण की ओर रुख किया था। नाइक ने कहा, ”जब मैंने यह कदम उठाया तो मेरे माता-पिता मुझसे बहुत नाराज थे। लेकिन अब पांच साल बाद मैं उनके समर्थन से यहां हूं।”
फिल्म की शुटिंग पुणे में की गई थी।
नाइक ने बंजारा साहित्य पर अपने शोध से एक 12 मिनट की डाक्यूमेंटरी बनाई थी जिसे पिछले साल अंतरराष्ट्रीय डाक्यूमेंटरी और शार्ट फिल्म फेस्टिवल में दिखाया गया था। फिल्म का नाम ‘भूल चूक टूल्स’ था।