वाशिंगटन, भारतीय मूल के दो अमेरिकी छात्रों ने कहा है कि जो बाइडन प्रशासन को गाजा में युद्ध को लेकर युवाओं की आवाज सुननी चाहिए। छात्रों ने इजराइल का समर्थन न करने की मांग को लेकर पूरे अमेरिका में कॉलेज परिसरों में चल रहे विरोध प्रदर्शन के पक्ष में यह बात कही है।
इजराइल-हमास युद्ध को लेकर विरोध प्रदर्शन हाल के हफ्तों में अमेरिकी विश्वविद्यालय और कॉलेज परिसरों में फैल गया है। इस वजह से व्यवधान उत्पन्न हुए हैं और गिरफ्तारियां की गईं।
पेन्सिलवेनिया विश्वविद्यालय की छात्रा आरा संपत ने एक साक्षात्कार में ‘पीटीआई-भाषा’ से कहा, “बहुत सारे छात्र वर्तमान में विभिन्न प्रकार के धरना-प्रदर्शन कर रहे हैं।”
पिछले साल 7 अक्टूबर को हमास के हमले और इजराइल के जवाबी हमले के बाद से छात्रों ने युद्ध के खिलाफ रैलियां, धरने, अनशन किए हैं और हाल ही में तंबू गाड़कर शिविर लगाए हैं।
वे मांग कर रहे हैं कि उनके संस्थान आर्थिक रूप से इजराइल से अलग हो जाएं, जिनमें से कई बड़े पैमाने पर उसे चंदा देते हैं।