भोपाल, 29 मई (भाषा) मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने कहा है कि आम आदमी पार्टी (आप) को एक परिवार चला रहा है तथा उन्होंने दल के संयोजक अरविंद केजरीवाल पर धन शोधन मामले में गिरफ्तार होने के बाद भी दिल्ली के मुख्यमंत्री का पद नहीं छोड़ने के लिए निशाना साधा।
मंगलवार रात ‘पीटीआई-भाषा’ के साथ एक साक्षात्कार में यादव ने कहा कि लोगों को अब केजरीवाल पर भरोसा नहीं रहा और भारत के संविधान निर्माताओं की आत्मा इस बात पर रो रही होगी कि कोई व्यक्ति जेल से सरकार कैसे चला सकता है।
प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने इस साल मार्च में दिल्ली के मुख्यमंत्री केजरीवाल को आबकारी नीति ‘घोटाले’ से जुड़े धन शोधन मामले में गिरफ्तार किया था।
यह मामला दिल्ली सरकार की 2021-22 के लिए आबकारी नीति को बनाने तथा लागू में कथित भ्रष्टाचार और धन शोधन से संबंधित है। इस नीति को बाद में रद्द कर दिया गया था।
केजरीवाल फिलहाल अंतरिम जमानत पर बाहर हैं।
यह पूछे जाने पर कि क्या ‘आप’ को कांग्रेस की तर्ज पर एक ही परिवार चला रहा है, यादव ने कहा, “एक ही परिवार पार्टी (आप) चला रहा है। अब तो उनकी पत्नी भी सामने आ गई हैं।”
यादव ने कहा, ‘‘ लोग अब उन पर विश्वास नहीं करते क्योंकि उन्होंने भ्रष्टाचार विरोधी आंदोलन में भाग लेते समय बड़े-बड़े दावे किए थे जो झूठे निकले….जैसे उन्होंने (केजरीवाल ने) कहा था कि वह कभी सुरक्षा नहीं लेंगे, लेकिन उन्होंने ली, वह कभी सरकारी घर नहीं लेंगे, लेकिन उन्होंने ले लिया। उन्होंने कहा था कि वह कोई राजनीतिक पार्टी नहीं बनाएंगे, लेकिन उन्होंने अपने गुरु (अन्ना हजारे) की बात भी नहीं सुनी और पार्टी बना ली।”
मुख्यमंत्री के मुताबिक, केजरीवाल ने कहा था कि वह सबको साथ लेकर चलेंगे, लेकिन उन्होंने कुमार विश्वास, शाजिया इल्मी और आशुतोष जैसे लोगों के साथ “अन्याय” किया, जो अच्छे नेता थे।
उन्होंने कहा, “इस व्यक्ति जिसने एक आईएएस अधिकारी को अपने घर बुलाकर उसके साथ दुर्व्यवहार किया… उनसे क्या उम्मीद की जा सकती है। एक तरह से उन्होंने (केजरीवाल ने) पूरी पार्टी (आप) की भावनाओं को नष्ट कर दिया है।”
यादव ने कहा कि केजरीवाल ने अपने लिए एक नया मॉडल भी तैयार कर लिया है। यादव से केजरीवाल के इस दावे पर सवाल किया गया था कि ‘आप’ में कांग्रेस की तरह आलाकमान संस्कृति नहीं होगी। यह दावा केजरीवाल ने पार्टी गठन से पहले किया था।
इस महीने की शुरुआत में उच्चतम न्यायालय ने केजरीवाल को 21 दिन की अंतरिम जमानत दी है ताकि वह मौजूदा लोकसभा चुनावों के लिए प्रचार कर सकें।
केजरीवाल पर कटाक्ष करते हुए यादव ने कहा, “जिन्होंने हमारा संविधान लिखा है, उनकी आत्मा रो रही होगी कि कोई व्यक्ति जेल से सरकार कैसे चला सकता है। मुख्यमंत्री का पद बहुत गरिमापूर्ण है और उन्होंने अपने मंत्रियों (सत्येंद्र जैन और मनीष सिसोदिया) के जेल जाने के बाद उनसे इस्तीफा ले लिया है, लेकिन वह खुद इस्तीफा नहीं दे रहे हैं।”
जब उनसे कहा गया कि हेमंत सोरेन ने धन शोधन मामले में गिरफ्तारी से पहले झारखंड के मुख्यमंत्री पद से इस्तीफा दे दिया था, तो यादव ने कहा, “मैं बिल्कुल यही कह रहा हूं। वह (केजरीवाल) इतना नीचे गिर गए हैं, जिसके बारे में किसी ने नहीं सोचा था। ’’
उन्होंने कहा, ” कहने के लिए कि वह आयकर आयुक्त थे, लेकिन उनका आचरण देखिए। वह लोगों के सामने किस तरह का उदाहरण पेश कर रहे हैं। उन्हें इतने सख्त शर्तों के साथ जमानत दी गई, जैसे कि वह कार्यालय नहीं जा सकते, बैठक नहीं कर सकते, किसी फाइल पर हस्ताक्षर नहीं कर सकते, आप किस तरह के मुख्यमंत्री हैं, आप क्या कहना चाहते हैं?”
केजरीवाल ने हाल में भाजपा से सवाल किया था कि अगले साल जब नरेन्द्र मोदी 75 साल के हो जाएंगे तो उनके बाद देश का प्रधानमंत्री कौन होगा।
यह पूछने जाने पर कि क्या भाजपा में ऐसा कोई फार्मूला मौजूद है, यादव ने कहा, “मैं इस पर कुछ नहीं कहना चाहता क्योंकि जो भी फैसले लिए जा रहे हैं, वो सबके सामने लिए जा रहे हैं। वो (केजरीवाल) हमारी पार्टी के बारे में बता रहे हैं, तो उनके लिए बेहतर होगा कि वो हमारी पार्टी में आ जाएं।”
भाजपा नेता ने कहा, “आप हमारी पार्टी के बारे में भविष्यवाणी कर रहे हैं… आपके लिए बेहतर होगा कि आप खुद ही अपनी भविष्यवाणी करें और अपना भविष्य जानें। अगर उन्होंने खुद ऐसा किया होता तो उन्हें जेल नहीं जाना पड़ता। बेहतर होगा कि आप अपने आचरण पर ध्यान दें।”
उन्होंने कहा, “लोग सब जानते हैं और वे उन्हें (विपक्ष) मुंहतोड़ जवाब देंगे।