कोझिकोड (केरल), सिरो-मालाबार कैथोलिक चर्च के इडुक्की डायोसिज के बाद, केरल में दो और डायोसिज से जुड़े युवा संगठनों ने विवादास्पद फिल्म ‘द केरल स्टोरी’ को प्रदर्शित करने का फैसला किया है।
सुदीप्तो सेन द्वारा निर्देशित यह फिल्म केरल की महिलाओं के एक समूह पर केंद्रित है जिन्हें कथित तौर पर इस्लाम अपनाने और आतंकी संगठन आईएसआईएस में शामिल होने के लिए विवश किया गया था।
सिरो-मालाबार चर्च के तमारास्सेरी डायोसिज और तलास्सेरी आर्चडायोसिज से संबद्ध केरल कैथोलिक यूथ मूवमेंट (केसीवाईएम) इकाइयों ने घोषणा की है कि वे फिल्म का प्रदर्शन करेंगी।
उत्तर केरल के दो डायोसिज की केसीवाईएम इकाइयों ने अलग-अलग फेसबुक पोस्ट में कहा कि फिल्म ‘द केरल स्टोरी’ प्रतिबंधित नहीं है। उन्होंने कक्षा 10, 11 और 12 में पढ़ने वाले अपने बच्चों के वास्ते इसे प्रदर्शित करने के लिए इडुक्की डायोसिज को बधाई दी।
संगठन ने एक फेसबुक पोस्ट में कहा, “फिल्म को तमारास्सेरी डायोसिज में केसीवाईएम की सभी इकाइयों में प्रदर्शित किया जाएगा।”
केरल में सत्तारूढ़ मार्क्सवादी कम्युनिस्ट पार्टी (माकपा) और विपक्षी कांग्रेस के विरोध के बावजूद दूरदर्शन ने पिछले हफ्ते ‘द केरल स्टोरी’ फिल्म का प्रसारण किया था। इस बीच तलास्सेरी आर्चडायोसिज की केसीवाईएम इकाई ने जानना चाहा कि ‘वे क्यों डरे हुए हैं।’
तलास्सेरी आर्चडायोसिज की केसीवाईएम इकाई के एक फेसबुक पोस्ट में परोक्ष तौर पर कांग्रेस और माकपा पर कटाक्ष करते हुए लिखा गया है, ‘‘प्रिय नेताओं, आप क्यों डरे हुए हैं? आप किसे खुश करने की कोशिश कर रहे हैं?”
इसने फिल्म का प्रदर्शन करने के लिए इडुक्की डायोसिज को भी बधाई दी और घोषणा की कि फिल्म को आर्चडायोसिज के विभिन्न हिस्सों में प्रदर्शित किया जाएगा।
इस फिल्म के प्रदर्शन की खबर सुर्खियों में आते ही इडुक्की डायोसिज ने सोमवार को स्पष्टीकरण जारी करके दावा किया कि फिल्म “प्रेम संबंधों और इसके परिणामों एवं खतरों के बारे में जागरूकता पैदा करने” के लिए दिखाई गई थी।