चेन्नई, टोरंटो में कैंडिडेट्स शतरंज टूर्नामेंट जीतकर इतिहास रचने वाले युवा ग्रैंडमास्टर डी गुकेश का यहां पहुंचने पर भव्य स्वागत किया गया ।
गुकेश के स्कूल वेलाम्मल विद्यालय के सैकड़ों छात्र उनकी उड़ान के पहुंचने के एक घंटे पहले ही से कतार बनाकर हवाई अड्डे पर खड़े थे । उनके अलावा भारी संख्या में प्रशंसक भी मौजूद थे ।
सत्रह वर्ष के गुकेश देर रात तीन बजे बाहर निकले और भीड़ ने उन्हें घेर लिया । उन्हें फूलों की मालायें पहनाई गई और पुलिस को उन्हें सुरक्षित बाहर निकालने के लिये काफी मशक्कत करनी पड़ी ।
गुकेश ने हवाई अड्डे पर मीडिया से कहा ,‘‘ मुझे घर आकर बहुत अच्छा लग रहा है । यह खास उपलब्धि है । मैं शुरू से ही अच्छा खेल रहा था और मुझे जीत का यकीन था । किस्मत ने भी मेरा साथ दिया ।’’
उन्होंने कहा ,‘‘ यह देखकर अच्छा लग रहा है कि इतने लोग शतरंज देखते हैं । मैं तमिलनाडु सरकार को धन्यवाद देता हूं । मैं अपने अप्पा, अम्मा, कोच, दोस्तों, परिवार, प्रायोजक और स्कूल को भी धन्यवाद दूंगा ।’’
गुकेश की मां पद्मा अपने परिजनों के साथ उन्हें लेने आई थी । गुकेश के पिता ईएनटी सर्जन रजनीकांत ने उनकी तैयारियों के लिये अपनी प्रेक्टिस छोड़ दी थी और उनके साथ टोरंटो गए थे ।
गुकेश ने कैंडिडेट्स शतरंज टूर्नामेंट जीतकर इतिहास रच दिया और वह विश्व चैम्पियनशिप खिताब के सबसे युवा चैलेंजर बन गए । उन्होंने 40 साल पुराना गैरी कास्पोरोव का रिकॉर्ड तोड़ा ।
गुकेश ने 14वें और आखिरी दौर में अमेरिका के हिकारू नकामूरा से ड्रॉ खेला । वह साल के आखिर में मौजूदा विश्व चैम्पियन चीन के डिंग लिरेन को चुनौती देंगे ।