मध्य प्रदेश में होंगे 3,500 ‘पिंक’ बूथ, पांच लाख नए मतदाता जुड़ने से वोटरों की संख्या 5.65 करोड़ हुई

भोपाल,मध्य प्रदेश में 5.65 करोड़ से अधिक मतदाता हैं, जो नवंबर 2023 के विधानसभा चुनाव के समय नामांकित 5.60 करोड़ से पांच लाख अधिक है। निर्वाचन आयोग के एक शीर्ष अधिकारी ने मंगलवार को यह जानकारी दी।

राज्य की 29 लोकसभा सीट पर चार चरणों में मतदान होगा।

अधिकारी ने बताया कि कुल पंजीकृत मतदाताओं में से 6.99 लाख 80 वर्ष या उससे अधिक आयु के हैं।

राज्य में लगभग 3,500 ‘पिंक’ बूथ स्थापित किए जाने की उम्मीद है, जिनका प्रबंधन विशेष रूप से सरकारी महिला कर्मचारी करेंगी।

मध्य प्रदेश की 29 लोकसभा सीट के लिए चार चरणों में – 19 अप्रैल, 26 अप्रैल, 7 मई और 13 मई को मतदान होगा और मतगणना चार जून को होगी।

मुख्य निर्वाचन अधिकारी (सीईओ) अनुपम राजन ने संवाददाताओं को बताया कि राज्य में 2.90 करोड़ पुरुष, 2.74 करोड़ महिला और 1,228 थड जेंडर मतदाताओं सहित 5.64 करोड़ मतदाता पंजीकृत हैं।

वरिष्ठ आईएएस अधिकारी ने कहा, इसके अलावा, विदेश में रहने वाले 118 मतदाता और 74,835 सेवा मतदाता (सीमाओं और अन्य स्थानों पर तैनात सेना के जवान) हैं, मध्य प्रदेश में कुल मतदाताओं की संख्या 5.65 करोड़ से अधिक हो गई है।

उन्होंने कहा कि नवंबर 2023 में हुए विधानसभा चुनाव के समय राज्य में लगभग 5.60 करोड़ मतदाता पंजीकृत थे।



सीईओ ने कहा, “18 से 19 आयु वर्ग में नए मतदाताओं की संख्या 16.49 लाख है, जबकि राज्य में लगभग 6.99 लाख मतदाता हैं, जिनकी उम्र 80 वर्ष या उससे अधिक है और 5.79 लाख दिव्यांग मतदाता हैं।”

राजन ने कहा कि मध्य प्रदेश का चुनावी जनसंख्या (ईपी) अनुपात 64.54 प्रतिशत है जबकि लिंग अनुपात 947 (प्रति 1,000 पुरुष मतदाताओं पर महिला मतदाताओं की संख्या) है।

ईपी कुल जनसंख्या की तुलना में चुनाव में मतदान करने के योग्य लोगों की संख्या को दर्शाता है।

सीईओ ने कहा कि सबसे कम लिंगानुपात 857 भिंड लोकसभा सीट में है, जबकि सबसे ज्यादा 1,014 बालाघाट में है।

उन्होंने कहा कि पूरे राज्य में 64,523 बूथ जबकि 367 सहायक मतदान केंद्र स्थापित किए जाएंगे , जहां 1,500 से अधिक मतदाता नामांकित हैं।

उन्होंने कहा कि 5 लाख से अधिक कर्मियों को चुनाव ड्यूटी पर लगाया जाएगा।

अधिकारी ने कहा कि सबसे कम बूथ (1,934) छिंदवाड़ा जबकि सबसे ज्यादा (2,614) मंडला लोकसभा क्षेत्र में होंगे।

राजन ने बताया कि इसी तरह, छिंदवाड़ा में सबसे कम 16.32 लाख मतदाता पंजीकृत हैं जबकि सबसे ज्यादा (25.13 लाख) इंदौर संसदीय सीट पर हैं।

उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग का लगभग 3,500 ‘पिंक बूथ’ स्थापित करने का लक्ष्य है, जिनका प्रबंधन महिला कर्मचारी कर्मचारी और 250 बूथों का प्रबंधन दिव्यांग करेंगे।

अधिकारी ने बताया कि जारी किए गए कुल 2.68 लाख में से लगभग 1.25 लाख लाइसेंसी हथियार पहले ही अधिकारियों के पास जमा कर दिए गए हैं।

मध्य प्रदेश में 2014 के लोकसभा चुनाव में 61.57 प्रतिशत मतदान हुआ था, जो 2019 में बढ़कर 71.16 प्रतिशत हो गया। 2023 के विधानसभा चुनाव में मतदान 77.82 प्रतिशत रहा था।

वर्ष 2019 में सबसे कम मतदान (54.42 फीसदी) भिंड लोकसभा सीट पर दर्ज किया गया, जबकि सबसे ज्यादा (82.39 फीसदी) छिंदवाड़ा में हुआ।

राजन ने कहा कि लोग संबंधित निर्वाचन क्षेत्रों में नामांकन दाखिल करने की अंतिम तिथि से 10 दिन पहले तक मतदाता सूची में अपना नाम दर्ज कराने के लिए आवेदन कर सकते हैं।