नयी दिल्ली, सरकार ने विदेशी निवेश को बढ़ावा देने के लिए बुधवार को ‘गिफ्ट-आईएफएससी’ के अंतरराष्ट्रीय एक्सचेंज पर भारतीय कंपनियों द्वारा प्रतिभूतियों को सीधे सूचीबद्ध करने की अनुमति दे दी।
वित्त मंत्रालय में आर्थिक मामलों के विभाग (डीईए) ने विदेशी विनिमय प्रबंधन (गैर-ऋण उत्पाद) नियमों में संशोधन किया है और ‘अंतरराष्ट्रीय एक्सचेंज योजना पर भारत में शामिल कंपनियों के इक्विटी शेयरों की सीधी सूचीबद्धता’ को अधिसूचित किया है।
इसके अलावा, कॉरपोरेट मामलों के मंत्रालय (एमसीए) ने कंपनी (अनुमेय क्षेत्राधिकार में इक्विटी शेयरों की सूची) नियम, 2024 जारी किए हैं।
वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने पहले चरण में पिछले साल 28 जुलाई को, गिफ्ट-आईएफएससी एक्सचेंजों में भारतीय कंपनियों की सीधी सूचीबद्धता के संबंध में एक घोषणा की थी।
वित्त मंत्रालय ने बयान में कहा, “ये मिलकर सार्वजनिक भारतीय कंपनियों को अनुमति प्राप्त अंतरराष्ट्रीय एक्सचेंजों में अपने शेयर जारी करने और सूचीबद्ध करने में सक्षम बनाने के लिए एक व्यापक नियामकीय ढांचा प्रदान करते हैं।”
इसमें कहा गया है कि इस पहल से विदेशी निवेश प्रवाह को बढ़ावा मिलेगा, वृद्धि के अवसर खुलेंगे और भारतीय कंपनियों के लिए निवेशक आधार का विस्तार होगा।
अभी तक, यह ढांचा गैर-सूचीबद्ध सार्वजनिक भारतीय कंपनियों को अपने शेयरों को अंतरराष्ट्रीय एक्सचेंज पर सूचीबद्ध करने की अनुमति देता है।
भारतीय प्रतिभूति और विनिमय बोर्ड (सेबी) सूचीबद्ध भारतीय कंपनियों के लिए परिचालन दिशानिर्देश जारी करने की प्रक्रिया में है।
गिफ्ट-आईएफएससी में अंतरराष्ट्रीय स्टॉक एक्सचेंज- इंडिया इंटरनेशनल एक्सचेंज और एनएसई इंटरनेशनल एक्सचेंज को वर्तमान में अनुमति प्राप्त स्टॉक एक्सचेंजों के रूप में निर्धारित किया गया है।
ये एक्सचेंज अंतरराष्ट्रीय वित्तीय सेवा केंद्र प्राधिकरण (आईएफएससीए) की नियामकीय निगरानी में आते हैं।