बेंगलुरु, कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धरमैया ने मंगलवार को नयी दिल्ली में प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से मुलाकात की और केंद्र से 18,177.44 करोड़ रुपये का सूखा राहत पैकेज जल्द जारी करने का अनुरोध किया।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य के किसान गहरे संकट का सामना कर रहे हैं।
कर्नाटक में कांग्रेस की अगुवाई वाली सरकार बार-बार अनुरोध करने और अधिकारियों की केंद्रीय टीम द्वारा विभिन्न प्रभावित क्षेत्रों का निरीक्षण करने के बाद भी राज्य को सूखा राहत पैकेज जारी करने में देरी का आरोप लगाते हुए मोदी सरकार की आलोचना करती रही है।
कर्नाटक सरकार ने 236 तालुकों में से 223 को सूखाग्रस्त घोषित किया है।
सिद्धरमैया ने प्रधानमंत्री को सौंपे एक ज्ञापन में कहा, ‘‘यह पता चला है कि केंद्रीय कृषि सचिव की अध्यक्षता में राष्ट्रीय कार्यकारी समिति की उप-समिति ने 13 नवंबर को बैठक की और कर्नाटक के ज्ञापनों और अंतर-मंत्रालयी केंद्रीय टीम (आईएमसीटी) की रिपोर्ट पर विचार किया।’’
इसमें कहा गया, ‘‘यह भी पता चला है कि उप-समिति ने अपनी रिपोर्ट गृह मंत्रालय को सौंप दी है, जिसे केंद्रीय गृह मंत्री की अध्यक्षता वाली उच्च स्तरीय समिति के समक्ष रखे जाने की उम्मीद है।’’
मुख्यमंत्री ने कहा, ‘‘हमें अपना पहला ज्ञापन सौंपे लगभग तीन महीने हो गए हैं और आईएमसीटी को प्रभावित क्षेत्रों का दौरा किए हुए दो महीने हो गए हैं। कर्नाटक के किसान गहरे संकट में हैं। चूंकि फसलें खराब हो गई हैं, इसलिए यह आवश्यक है कि हम किसानों को जल्द ही ‘इनपुट सब्सिडी’ का भुगतान करें ताकि उनकी कठिनाई और पीड़ा को कम किया जा सके।’’
प्रधानमंत्री से मुलाकात के दौरान सिद्धरमैया के साथ कर्नाटक के राजस्व मंत्री कृष्णा गौड़ा भी थे।