लॉजिस्टिक प्रदर्शन सूचकांक 2023 में 13 राज्य, केंद्र शासित प्रदेश ‘सफल’ श्रेणी में शामिल

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नयी दिल्ली,  लॉजिस्टिक प्रदर्शन सूचकांक 2023 में आंध्र प्रदेश, कर्नाटक, तमिलनाडु, चंडीगढ़ और गुजरात समेत 13 राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों को ‘सफल’ श्रेणी शामिल किया गया है। उद्योग एवं वाणिज्य मंत्रालय की ओर से शनिवार को जारी एक रिपोर्ट में यह जानकारी दी गई।

सूचकांक निर्यात और आर्थिक वृद्धि को बढ़ावा देने के लिए जरूरी लॉजिस्टिक सेवाओं की दक्षता का संकेतक है।

इस वर्ष 15 राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों की तुलना में यह संख्या घटकर 13 हो गई है क्योंकि दो राज्य अपने स्थान से फिसल गए हैं। हिमाचल प्रदेश जहां ‘आकांक्षी’ श्रेणी में तो उत्तराखंड ‘तेजी से आगे बढ़ने वाले’ श्रेणियों में पहुंच गए हैं।

सिक्किम और त्रिपुरा बेहतर प्रदर्शन करते हुए 2022 में ‘तेजी से आगे बढ़ने वालों’ की श्रेणी से बढ़ाकर ‘सफल’ श्रेणी में शामिल हो गए।

‘सफल’ श्रेणी में अन्य राज्य दिल्ली, असम, हरियाणा, पंजाब, तेलंगाना और उत्तर प्रदेश हैं।

सूची में ‘तेजी से आगे बढ़ने वाले’ राज्यों, केंद्र शासित प्रदेशों में केरल, महाराष्ट्र, मध्य प्रदेश, राजस्थान, उत्तराखंड, अरुणाचल प्रदेश, नगालैंड, अंडमान एवं निकोबार, लक्ष्यद्वीप और पुडुचेरी को शामिल किया गया है।

‘आकांक्षी’ श्रेणी में स्थान पाने वाले राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों में गोवा, ओडिशा, पश्चिम बंगाल, बिहार, छत्तीसगढ़, हिमाचल प्रदेश और झारखंड, मणिपुर, मेघालय, मिजोरम, दमन एवं दीव, दादरा एवं नगर हवेली, जम्मू-कश्मीर और लद्दाख शामिल हैं।

वाणिज्य और उद्योग मंत्री पीयूष गोयल द्वारा जारी पांचवीं ‘लीड्स’ (विभिन्न राज्यों में लॉजिस्टिक सुगमता) 2023 रिपोर्ट में राज्यों को उनके लॉजिस्टिक माहौल के आधार पर सूचीबद्ध किया गया है। इसमें हितधारकों के सामने आने वाली प्रमुख लॉजिस्टिक संबंधी चुनौतियों पर प्रकाश भी डाला गया है।

सूचकांक का उद्देश्य राज्यों में लॉजिस्टिक प्रदर्शन में सुधार पर ध्यान केंद्रित करना है।

गोयल ने कहा कि लॉजिस्टिक्स क्षेत्र 2047 तक देश की अर्थव्यवस्था को लगभग 35 लाख करोड़ डॉलर तक ले जाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगा।