बोस्टन (अमेरिका), इजराइल-हमास युद्ध के मद्देनजर हिंसा की आशंका के बीच शुक्रवार को अमेरिका के न्यूयॉर्क, लॉस एंजिलिस और अन्य शहरों में पुलिस ने गश्त बढ़ा दी, संसद भवन के चारों ओर सुरक्षा कड़ी कर दी और कुछ स्कूलों को बंद कर दिया।
हालांकि कानून प्रवर्तन अधिकारियों ने कहा कि अमेरिका में खतरे की कोई पुष्ट सूचना नहीं है।
हमास के एक पूर्व नेता के ‘‘आक्रोश का दिन’’ की घोषणा से अमेरिका का यहूदी समुदाय भयभीत है और उनके प्रार्थना स्थलों, स्कूलों तथा सांस्कृतिक संस्थानों के आसपास सुरक्षा कड़ी कर दी गयी है। यह घबराहट इस बात का संकेत है कि इजराइल और हमास के बीच युद्ध की गूंज पूरी दुनिया में किस कदर सुनायी दे रही है जिससे यहूदी समुदाय कोई विश्वसनीय खतरा न होने के बावजूद डरा हुआ है।
कानून प्रवर्तन अधिकारियों ने बताया कि वे इजराइल पर हमास के हमले के बाद यहूदी विरोधी या मुसलमान विरोधी भावनाओं के कारण किसी प्रकार की हिंसा को लेकर अत्यधिक चौकन्ना हैं। यहूदी और मुस्लिम समूहों ने सोशल मीडिया पर नफरत भरे या धमकी भरे पोस्ट में वृद्धि की जानकारी दी है।
संघीय जांच ब्यूरो (एफबीआई) के निदेशक क्रिस्टोफर व्रे ने बृहस्पतिवार को एक बैठक में यहूदी समुदाय के नेताओं से कहा, ‘‘हम इस आशंका से इनकार नहीं कर सकते हैं कि हमास या अन्य विदेशी आतंकवादी संगठन अपने समर्थकों से हमारी धरती पर यहां हमले करने का आह्वान कर इस संघर्ष का फायदा उठा सकते हैं।’’
न्यूयॉर्क सिटी के मेयर एरिक एडम्स ने बृहस्पतिवार को पत्रकारों से कहा कि पुलिस कुछ इलाकों में अतिरिक्त गश्त करेगी और स्कूलों तथा प्रार्थना स्थलों पर अतिरिक्त बलों को भेजा जाएगा।
एडम्स और न्यूयॉर्क की गवर्नर कैथी होचुल ने कहा कि कानून प्रवर्तन एजेंसियों को राज्य या शहर में किसी खतरे की कोई विश्वसनीय सूचना नहीं है।
इस बीच, न्यूयॉर्क सिटी काउंसिल सदस्य को फलस्तीन का समर्थन कर रहे छात्र प्रदर्शन में एक हैंडगन लाने के आरोप में शुक्रवार को गिरफ्तार कर लिया गया।